
15 हजार कॉल्स की जांच की तब मिला सुराग
लोकेश कुमार ने पुलिस को चकमा देने के लिए पूरा प्लान तैयार कर लिया था। तभी तो पुलिस ने शुरू में इस मामले को अपहरण मान रही थी। किंतु फर्स्ट इन्वेस्टिगेशन ऑफिसर पीएसआई कृष्णकुमार मीना समेत टीम ने लोकेश कुमार के मोबाइल के एक साल का काल डिटेल्स निकलवाए। 15 हजार कॉल्स की बारीकी से जांच की गई, तब आरोपी पकड़ में आया। जांच में लोकेश कुमार ने 12 प्लाट तैयार किए थे, जिससे पुलिस को छकाने में आसानी होती।
3 महीने पहले ही बंद कर दिया था BF से बातचीत करना
लोकेश कुमार ने पत्नी मुनेश की हत्या करने के लिए प्रेमिका से मोबाइल पर तीन महीने पहले ही बातचीत करना बंद कर दिया था। यही नहीं, प्रेमिका से भी कह दिया था कि वह उसे मोबाइल पर बात न करे। उसे विश्वास था कि पुलिस उसके मोबाइल के एक-दो महीने का ही डिटेल्स निकालेगी। जिसमें प्रेमिका का नम्बर नहीं आएगा।
पत्नी का हॉस्टल में एडमिशन कराया
एक महीने पहले मुनेश को जयपुर के हॉस्टल में काम्पीटिशन एक्जाम की तैयारी के लिए एडमिशन कराया। पूरा खर्चा भी उठाया। ताकि ससुराल में किसी तरह की शंका न हो। पुलिस ने जब मुनेश के परिवार वालों से पूछताछ की, तो सभी ने जमाई को अच्छा इंसान बताया।
पत्नी से प्यार के दिखावे के लिए करता SMS
आॅफिस में होने के बाद भी पत्नी को फोन और मेसेज कर बातचीत करता। पत्नी का पूरा खयाल रखता है, ,ऐसा दिखावा करता। खूब मेसेज और कॉल करता, ताकि यह पता चले कि दोनों में किसी प्रकार की अनबन या फिर कटुता नहीं है। लोगों को भी लगे कि दोनों एक-दूसरे को खूब प्यार करते हैं।
लोकेशन जयपुर में रहे, इसलिए किया ऐसा…
हत्या की योजना वडोदरा में बनाई थी, इसलिए पुलिस को भ्रमित करने के लिए मुनेश की जान को खतरा हे, साथ ही मोबाइल लोकेशन से भी उसकी जान को खतरा है, इसलिए अपने दोस्त प्रवेंद्र शर्मा को भेजकर उसके मोबाइल को जयपुर में ही बंद करवा दिया था। जिससे आखिरी लोकेशन न मिले।
दोस्त के नाम मकान किराए पर लिया, पर करार नहीं किया
दोस्त प्रवेंद्र केे नाम हरणी त्रिशा डुप्लेक्स में मकान किराए पर लिया, पहचाना न जाए, इसलिए दस्तावेज के बहाने किराए का समझौता नहीं किया। ग्रीन नेट लगाकर मजदूरों से गड्ढा खुदवाया। पानी का पाइप और नई रस्सी लाया।
पत्नी के लापता होने की रिपोर्ट लिखवाई
पत्नी गुम हो गई है, इसकी रिपोर्ट उसके पिता विजेंद्र सिंह से करवाई। भाई प्रभंजन कुमार को कॉल करके उसकी बहन मुनेश 11 अप्रैल की शाम 7 बजे से गुम हो गई है, यह जानकारी देते हुए उसकी तलाश करने को कहा। इधर खुद मुनेश की हत्या कर लाश का गाड़ कर 13 अप्रैल को जयपुर पहुंचा।
मोबाइल फार्मेट कर दिया
अपना मोबाइल हेंग हो गया है, यह कहकर उसे फार्मेट कर दिया। ताकि दोनों के बीच मेसेज और तस्वीरें और संदिग्ध बातचीत के डाटा डिलीट कर दिए। पुलिस नेे जब उसका मोबाइल जांचा, तब उसने बताया कि हेंग होने के कारण उसे फार्मेट कर दिया है।
PSI के खिलाफ आक्षेप
पीएसआई कृष्णकुमार पर यह आरोप लगाया कि वे पत्नी मुनेश की तलाश में दिलचस्पी नहीं दिखा रहे हैं। उनकी पत्नी, बहन या बेटी गुम हुई होती, तब उन्हें पता चलता। वह पुलिस पर लगातार दबाव डालता रहा कि मुनेश की तलाश में वह दिलचस्पी ले।
शक की सूई रूममेट की ओर
11 अप्रैल की रात रूम मेट आशा यादव ने मुकेश का टिफिन आ गया है, पर वह नई आई है, इस आशय का कॉल उसने लोकेश कुमार को किया। तब उसने सख्ती से जवाब दिया कि पीजी संचालक को इसकी जानकारी होगी, उसे सख्ती से पूछो, ऐसा उसने आशा से कहा। ताकि शंका की सूई रूममेट या संचालक पर जाए।
मुनेश किसी के साथ भाग गई है, ऐसा नाटक
मुनेश के हॉस्टल के आसपास सीसीटीवी फुटेज की जांच के लिए लोकेश कुमार खूब सक्रिय था। सीसीटीवी फुटेज में मुनेश का अपहरण हुआ है, इस दिशा में मामले को ले जाने का प्रयास भी किया।
दोस्त को नौकरी के बहाने बुलाया
दोस्त प्रवेंद्र शर्मा को नौकरी दिलाने के बहाने भावनगर से वडोदरा बुलाया। प्रेमिका से शादी करनी है, इसलिए मुनेश की हत्या के लिए दोस्त को मनाया। उसके नाम से मकान किराए पर लिया। पत्नी को लेने जयपुर भेजा। हत्या के बाद गड्ढा भी पाट दिया।
मुनेश के स्वजनों के साथ तलाशी
अरेस्ट होने के दो दिन पहले तक लोकेश कुमार पत्नी मुनेश के परिवार वालों के साथ ही उसकी खोज कर रहा था। स्वजनों को उस पर किसी भी तरह की शंका न हो, इसकी पूरी तरह से ऐहतियाद बरती थी। परिवार वालों को आखिर समय तक उसकी करतूत के बारे में कोई गंध तक नहीं आई।
फांसी की मांग के साथ भरतपुर में केंडल मार्च
मुनेश की हत्या के मामले में लोकेश की प्रेमिका की भूमिका भी संदिग्ध है। इसलिए पुलिस उससे भी पूछताछ करेगी। वडोदरा से कब्जे में ली गई मुनेश की लाश को जयपुर ले जाने के बाद पोस्टमार्टम की प्रक्रिया पूरी की गई। इसके बाद उस लाश को मुनेश के परिवार वालों ने भरतपुर के पास सिनसीनी ले जाया गया। जहां सोमवार की शाम को उसका अंतिम संस्कार किया गया। भरतपुर के लोगों ने मुनेश की हत्या के आरोपी पति को फांसी की सजा देने की मांग करते हुए केंडल मार्च निकाला।
यह था मामला
उल्लेखनीय है सोमवार को यह मामला उजागर हुआ, जिसमें आयकर अधिकारी लोकेश कुमार ने पूरी सूझबूझ के साथ अपनी पत्नी मुनेश की हत्या कर दी थी। हत्या को उसने ऐसा रूप दिया कि पुलिस भी चकमा खा गई। इस काम में उसने अपने दोस्त को भागीदार बनाया। दोस्त ने मुनेश का मुंह दबाया और लोकेश ने रस्सी से गला दबाकर मुनेश की हत्या कर दी। फिर मकान के पीछे खोदे गए गड्ढे में उसे गाड़ दिया। इस मामले में जब पुलिस ने उसकी एक साल की कॉल डिटेल निकलवाई, तब पता चला कि यह मामला हत्या का है। जिसमें लोकेश ने अपनी प्रेमिका से शादी करने के लिए पत्नी की हत्या कर दी।