शिवपुरी के 12 पुलिस अधिकारियों के खिलाफ हाईकोर्ट का नोटिस | MP NEWS

Bhopal Samachar
भोपाल। शिवपुरी जिले के करैरा थाने में पदस्थ रहे पीएस तोमर (टीआई), कैलाश बाबू आर्य (टीआई), पीपी मुदगल (टीआई), हुकुम सिंह यादव (सब-इंस्पेक्टर), आरएस भदौरिया (सब-इंस्पेक्टर), ओपी आर्य (टीआई), संजीव तिवारी (टीआई), प्रदीप वाल्टर (टीआई), नवल सिंह (सब-इंस्पेक्टर), भगवान लाल (सब-इंस्पेक्टर), राघवेंद्र यादव (सब-इंस्पेक्टर), जूली तोमर (सब-इंस्पेक्टर) के खिलाफ हाईकोर्ट की ग्वालियर बैंच ने नोटिस जारी किया है। आरोप है कि इन सभी ने सुप्रीम कोर्ट के आदेश का पालन नहीं किया। यह सभी पुलिस अधिकारी अप्रैल 2016 से लेकर अब तक करैरा थाने में पदस्थ रहे हैं।

एसपी शिवपुरी से शपथपत्र पर जवाब मांगा
मप्र उच्च न्यायालय की ग्वालियर खंडपीठ ने राजवीर सिंह की याचिका पर सुनवाई करते हुए 12 पुलिस अधिकारियों को कारण बताओ नोटिस जारी करने का निर्देश दिया है। साथ ही यह भी बताने को कहा है कि उनके खिलाफ विभागीय व आईपीसी के प्रावधानों के अंतर्गत जरूरी कदम क्यों न उठाए जाएं। इसके साथ ही कोर्ट ने मप्र शासन को पुलिस अधीक्षक रैंक के अधिकारी के शपथ पत्र पर पृथक से जवाब प्रस्तुत करने के निर्देश दिए हैं। प्रकरण की अगली सुनवाई 3 मई को नियत की गई है।

क्या है मामला
एक नागरिक हाकिम सिंह ने रिपोर्ट दर्ज कराई थी कि तत्कालीन एएसआई राजवीर सिंह व सिपाही राघवेंद्र शुक्ला ने उन पर गोली चलाई। आईजी ग्वालियर ने जांच के आदेश दिए, जिस पर दोनों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई। एएसआई राजवीर सिंह का कहना था कि हाकिम सिंह डकैतों से मिला हुआ था। उन्हें सूचना मिली कि डकैत पास के क्षेत्र में छुपे हुए हैं, जब वे उन्हें पकड़ने गए तो डकैतों ने उन पर गोली चलाई। जवाबी कार्रवाई में उन्होंने भी गोली चलाई। इस मुठभेड़ में हाकिम सिंह को डकैतों की गोली लगी थी। सुप्रीम कोर्ट ने राजवीर की याचिका पर एफआईआर खारिज करने के आदेश दिए थे परंतु पुलिस अधिकारियों ने केस में खात्मा नहीं लगाया। 

#buttons=(Ok, Go it!) #days=(20)

Our website uses cookies to enhance your experience. Check Now
Ok, Go it!