
भावनगर के SP प्रवीण मल के मुताबिक, दलित युवक की हत्या घोड़ा रखने या घुड़सवारी करने को लेकर नहीं हुई, जैसा कि पीड़ित के परिवार वालों ने आशंका जताई है। उन्होंने बताया कि पीड़ित युवक के चाल-चलन को लेकर हमारे पास स्थानीय लोगों के कई तरह के बयान आए हैं।
हालांकि पुलिस ने यह भी कहा कि अभी इस हत्याकांड की जांच चल रही है और इसीलिए सभी एंगल से चीजों को परखा जा रहा है। पीड़ित परिवार वालों ने पुलिस के दिए अपने बयान में कहा है कि गांव के ऊंची जाति के दबंग लोग घोड़ा पालने को लेकर धमकी देते थे।
बता दें कि भावनगर से 60 किलोमीटर दूर टींबी गांव में बीते गुरुवार की शाम कथित तौर पर ऊंची जाति के दबंग लोगों ने धारदार हथियार से वार कर सरेआम हत्या कर दी। घटना के वक्त पीड़ित घोड़े पर सवार होकर कहीं जा रहा था।
पुलिस ने मामले में दो लोगों को गिरफ्तार भी किया है। पीड़ित के परिवार वालों का कहना है कि घोड़ा पालने को लेकर गांव के ऊंची जाति के दबंग उन्हें धमकाते रहते थे और कहते थे कि कोई दलित घोड़ा कैसे रख सकता है।
मृतक के पिता का कहना है कि धमकियों की वजह से उन्होंने घोड़ा बेचने का मन बना लिया था लेकिन बेटे की जिद के आगे वो मजबूर थे। उन्हें लग रहा था कि मामला सुलझ जाएगा। मगर दबंगों ने उनके बेटे की जान ले ली।