शिवराज सरकार की बिजली योजना के खिलाफ दाखिल याचिका खारिज | MP NEWS

जबलपुर। सीएम शिवराज सिंह चौहान की महत्वाकांक्षी चुनावी योजना बिजली बिल माफी योजना एवं सरल बिजली बिल योजना को नागरिक उपभोक्ता मार्गदर्शक मंच के डॉ पीजी नाजपाण्डे ने आम जनता के साथ अन्यायपूर्ण बताते हुए इसे तत्काल रोकने का निवेदन करते हुए हाईकोर्ट में जनहित याचिका दाखिल की थी परंतु चीफ जस्टिस हेमन्त गुप्ता की डिवीजन बेंच ने इस जनहित याचिका को खारिज कर दिया। हाईकोर्ट का कहना है कि यह सरकार और बिजली कंपनी के बीच का मामला है। यदि बिजली कंपनी को कोई आपत्ति है तो वो सामने आए। 

मध्यप्रदेश में शिवराज सरकार ने असंगठित क्षेत्र के श्रमिकों और बीपीएल उपभोक्ताओं के बकाया बिल माफ कर दिए हैं एवं एक नई सरल बिजली बिल योजना लागू की है। इसके तहत उपभोक्ताओं को 200 रुपए प्रतिमाह फिक्स पर बिजली दी जा रही है। नागरिक उपभोक्ता मार्गदर्शक मंच के डॉ पीजी नाजपाण्डे ने इस योजना के खिलाफ हाईकोर्ट में याचिका दाखिल की थी। डॉ पीजी नाजपाण्डे का तर्क था इस योजना के कारण बिजली कंपनियों को जो घाटा होगा उसकी भरपाई वो बिजली की दरें बढ़कार आम उपभोक्ताओं से करेगी। यह योजना अन्यायपूर्ण है।

डॉ पीजी नाजपाण्डे ने अपने पक्ष समर्थन में कई तर्क और तथ्य भी प्रस्तुत किए थे परंतु चीफ जस्टिस हेमन्त गुप्ता की डिवीजन बेंच ने उनकी याचिका और तथ्यों को अस्वीकार करते हुए कहा कि यह सरकार और बिजली कंपनी के बीच का विषय है। यदि बिजली कंपनी को कोई आपत्ति नहीं है तो हाईकोर्ट इस मामले में दखल नहीं दे सकता। याचिकाकर्ता डॉ पीजी नाजपाण्डे का कहना है कि वो इस निर्णय से सहमत नहीं है और निर्णय को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती देंगे। 
मध्यप्रदेश और देश की प्रमुख खबरें पढ़ने, MOBILE APP DOWNLOAD करने के लिए (यहां क्लिक करेंया फिर प्ले स्टोर में सर्च करें bhopalsamachar.com

#buttons=(Ok, Go it!) #days=(20)

Our website uses cookies to enhance your experience. Check Now
Ok, Go it!