नीमच। मप्र तृतीय वर्ग शासकीय कर्मचारी संघ के प्रांतीय उपाध्यक्ष व जिला शाखा-नीमच के अध्यक्ष कन्हैयालाल लक्षकार ने बताया कि विगत मार्च माह में श्री केसी शर्मा जिला शिक्षा अधिकारी नीमच ने शासनादेश की मनमानी व व्याख्या कर हायरसेकंड्री योग्यता धारी सहायक शिक्षकों को क्रमोन्नति के लिए अपात्र घोषित किया था। इस संबंध में तात्कालिन आयुक्त श्री डीपी दुबे मप्र लोकशिक्षण संचालनालय भोपाल ने अपने आदेश क्रमांक/स्था-3/क्रमोन्न्नत/सी/598 दिनांक 02/04/2002 द्वारा प्रदेश के समस्त जिला शिक्षा अधिकारियों को शंका समाधान करते हुए स्पष्ट किया था कि "क्रमोन्नति वेतनमान देने में योग्यता कोई बंधनकारी नहीं है।
लगभग सोलह वर्ष पूर्व जो निर्देश आयुक्त महोदय ने जारी किये थे उनकी अनदेखी व उपेक्षा करते हुए जिले के सैकड़ों सहायक शिक्षकों को तृतीय क्रमोन्नति वेतनमान से अपात्र घोषित कर अनाधिकृत रूप से स्वत्वों से वंचित करते हुए एक कदम आगे बढ़ कर हिटलरशाही पूर्वक आदेश जारी कर 24 वर्ष सेवाकाल पर दी गई द्वितीय क्रमोन्न्नत की वसूली के तुगलकी फरमान जारी कर जिले के शिक्षकों में आक्रोश का संचार किया।
जिले में इस आधार पर अपात्र घोषित शिक्षकों को अविलंब आदेश जारी कर तृतीय क्रमोन्न्नति वेतनमान आदेश जारी कर देय एरियर व नगद लाभ दिया जाए नहीं तो आगामी शिक्षक दिवस पर मप्र तृतीय वर्ग शासकीय कर्मचारी संघ के भारी विरोध का सामना करना पड़ेगा। जिले में फिजा बिगड़ी तो श्री केसी शर्मा जिला शिक्षा अधिकारी नीमच व्यक्तिगत रूप से जवाबदार होंगे।
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