मोदी जी रविवार को झारखंड से केंद्र के महत्वाकांक्षी आयुष्मान भारत-राष्ट्रीय स्वास्थ्य सुरक्षा मिशन का शुभारंभ करेंगे। पीएम मोदी दिन के 11.30 बजे रांची के प्रभात तारा मैदान में इस योजना को हरी झंडी दिखाएंगे। इस महत्वाकांक्षी योजना का लक्ष्य प्रत्येक परिवार को सालाना पांच लाख रुपये का कवरेज प्रदान करना है। उसका नाम बदलकर प्रधानमंत्री जन आरोग्य अभियान कर दिया गया है। इससे 10 करोड़ से अधिक गरीब परिवार लाभान्वित होंगे। पात्र लोग सरकारी और सूचीबद्ध निजी अस्पतालों में इसका लाभ उठा सकते हैं।
इस योजना के दायरे में गरीब, वंचित ग्रामीण परिवार और शहरी श्रमिकों परिवारों की पेशेवर श्रेणियां आयेगी।नवीनतम सामाजिक आर्थिक जातीय जनगणना (एसईसीसी) के हिसाब से गांवों में ऐसे 8.03 करोड़ और शहरों में 2.33 परिवार हैं, योजना का लाभ करीब 50 लाख लोगों को मिलेगा।
एसईसीसी के डाटाबेस में वंचना के आधार पर पात्रता तय की जा रही है। ग्रामीण क्षेत्रों में वंचना की श्रेणियों (डी1, डी2, डी3, डी4, डी5, डी6 और डी7) के आधार पर लाभार्थियों की पहचान की गई है। शहरी क्षेत्रों में 11 पेशवेर मापदंड पात्रता तय करेंगे, उनमें कूड़ा चुनने वाले, भिखारी, घरेलू सहायक, रेहड़ी-पटरी वाले, मोची, फेरीवाले या सड़क पर सेवाएं प्रदान करने वाले अन्य, निर्माण श्रमिक, नलसाज, राजमिस्त्री, श्रमिक, सफेदी करने वाले, वेल्डर, सेक्युरिटी गार्ड, कूली, सफाईकर्मी आदि हैं।
इसके अलावा जिन राज्यों में राष्ट्रीय स्वास्थ्य बीमा योजना है, उसके लाभार्थी भी इस नयी योजना के अंतर्गत आएंगे। इस योजना के मुख्य शिल्पी नीति आयोग के सदस्य वी के पॉल ने कहा, 'प्रधानमंत्री 23 सितंबर को इस योजना का शुभारंभ करेंगे। लेकिन यह प्रभावी तौर पर 25 सितंबर को पंडित दीनदयाल उपाध्याय की जयंती को लागू होगी।' केंद्र सरकार की महत्वाकांक्षी ‘आयुष्मान भारत’ योजना में अस्पताल में भर्ती से तीन दिन पहले से 15 दिन बाद तक की दवाओं और जांच खर्च भी शामिल होगा।
आयुष्मान भारत स्कीम के तहत देश के 10 करोड़ परिवारों को 5 लाख रुपये तक के फ्री हेल्थ इंश्योरेंस की सुविधा दी जाएगी, इसमें लगभग सभी गंभीर बीमारियों का इलाज कवर होगा। आयुष्मान भारत के सीईओ डॉ. इंदु भूषण का दावा है कि यह दुनिया का सबसे बड़ा सरकारी फंड वाला स्वास्थ्य बीमा कार्यक्रम है। स्वास्थ्य मंत्रालय ने इस प्रोजेक्ट के लिए 10,000 करोड़ रुपये का आवंटन किया है।