लखनऊ। उत्तरप्रदेश की भाजपा नेता व पूर्व मीडिया पैनलिस्ट दीप्ति भारद्वाज का कहना है कि बड़ी समस्या सामने आ रही है कि जब हम जाति की बात करना शुरू कर देते हैं। एक तरफ राष्ट्रवाद है और दूसरी तरफ हिंदुत्व, तीसरी तरफ जाति का शिगूफा उठाया है। इस सब चीजों को ध्यान में रखते हुए बड़े बदलाव की आवश्यकता है।
दीप्ति भारद्वाज ने कहा कि हमें 2019 में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को दोबारा से प्रधानमंत्री के रूप में लाना है क्योंकि इस देश को अगर विश्वगुरु बनाना है तो बार-बार मोदी सरकार सिर्फ एकमात्र यही नारा है और विकल्प है। वो उत्तरप्रदेश में योगी आदित्यनाथ सरकार द्वारा आयोजित जातीय सम्मेलनों पर टिप्पणी कर रहीं थीं। बता दें कि लोकसभा चुनाव 2019 की तैयारियों के चलते देश भर में जातीय सम्मेलनों का आयोजन किया जा रहा है। हिंदुत्व और राष्ट्रवाद के बाद अब जातिवाद को लेकर भाजपा के भीतर कई नेता सहमत नहीं हैं।
कौन हैं दीप्ति भारद्वाज?
मूलरूप से बरेली की रहने वाली राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) की पृष्ठभूमि की दीप्ति भारद्वाज जनवरी 2017 में यूपी भाजपा की मीडिया में पैनलिस्ट बनाई गईं। उससे पहले 2013 में भाजपा ब्रज क्षेत्र की महिला मोर्चा की क्षेत्रीय महामंत्री थीं। वह अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद से भी जुड़ी रहीं हैं।
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