शुजालपुर। मध्यप्रदेश चुनाव के दौरान रिटर्निंग आॅफिसर की मनमानी का बड़ा मामला सामने आया है। पूरे दस्तावेजों के साथ नामांकन पत्र जमा कराने आए आम आदमी पार्टी के प्रत्याशी माखन सिंह परमार को रिटर्निंग ऑफिसर ने बिना किसी कारण के भगा दिया था। जब मामला चुनाव आयोग के सामने पहुंचा तो आयोग ने फिर से नामांकन भरने का अवसर दिया है। रिटर्निंग ऑफिसर के खिलाफ क्या कार्रवाई की गई, अभी तक स्पष्ट नहीं हो पाया है।
मामला रिटर्निंग ऑफिसर व शुजालपुर एसडीएम पार्थ जायसवाल का है। निर्वाचन आयोग द्वारा जारी कार्यक्रम के अनुसार विधानसभा चुनाव के लिए 9 नवंबर को दोपहर 3 बजे तक नामांकन पत्र दाखिल किया जाना था। आम आदमी पार्टी के प्रत्याशी माखन सिंह परमार निर्धारित समय से पहले रिटर्निंग ऑफिसर के समक्ष पहुंचे और दस्तावेजों सहित अपना नामांकन पत्र प्रस्तुत किया परंतु रिटर्निंग ऑफिसर ने नामांकन पत्र स्वीकार नहीं किया था। प्रत्याशी को लौटाते हुए उपस्थित कर्मचारियों व रिटर्निंग ऑफिसर ने कहा कि आप 6 दिन से क्या कर रहे थे? यह उसी लापरवाही की सजा है।
जब इस मामले की शिकायत चुनाव आयोग से की गई तो आयोग ने प्रत्याशी को नामांकन पत्र जमा करने का दूसरा अवसर दिया है। उन्हें सोमवार को सुबह 7 से 9 बजे के बीच फॉर्म जमा करने का समय दिया गया है। बता दें कि यह पद के दुरुपयोग का मामला है परंतु शुजालपुर एसडीएम पार्थ जायसवाल के खिलाफ क्या कार्रवाई की गई, इसकी जानकारी चुनाव आयोग की तरफ से नहीं बताई गई है।