भोपाल। मध्यप्रदेश पटवारी भर्ती परीक्षा के बाद अब पटवारी नियुक्ति घोटाला का प्लॉट तैयार हो गया है। बताया जा रहा है कि पूरे प्रदेश में पटवारियों के करीब 1400 पद रिक्त बच गए हैं एवं इन पदों की पूर्ति के लिए कराई गई परीक्षा में 1300 से ज्यादा उम्मीदवार वेटिंग लिस्ट में हैं, परंतु विभाग ने अब तक काउंसलिंग नहीं कराई है। सूत्रों का कहना है कि विभाग के दलाल उम्मीदवारों से संपर्क कर रहे हैं। यदि उम्मीदवार नियुक्ति के बदले मोटी रकम चुकाने को तैयार हुए तो नियमानुसार उन्हे अवसर दे दिया जाएगा, अन्यथा पद रिक्त रखे जाएंगे। उचित समय पर वेटिंग लिस्ट वालों को ना बुलाना इस संदेह को पुख्ता करता है।
क्या है मामला
मध्य प्रदेश पटवारी परीक्षा का आयोजन दिसंबर 2017 में हुआ था जिसका परीक्षा परिणाम दिनांक 26 मार्च 2018 को घोषित हुआ। जिसमें चयनित 9235 अभ्यर्थी के अलावा 15% अभ्यर्थियो को प्रतीक्षा सूची में स्थान दिया गया था। जिनको परीक्षा रूल बुक के अनुसार चयनित अभ्यर्थियो की अनुपस्थिति या ज्वाइन न करने की स्थिति मे काउंसलिंग के माध्यम से अवसर प्रदान करना था।
पहली काउंसिलिंग जो कि 23 जून को हुई थी उसमे ही लगभग 1000+ अभ्यर्थी अनुपस्थित रहे तथा कुछ अभ्यर्थी प्रशिक्षण के दौरान कोई अन्य जाॅब मिलने के कारण अपनी सीट छोड़ गये, जिसके कारण लगभग 1300+ जगह रिक्त हो चुकी है जिनको प्रतीक्षा सूची के अभ्यर्थियों से भरा जाना था। पर इससे संबंधित कोई भी प्रक्रिया अब तक राजस्व विभाग की ओर से नही की गयी है जिससे लगभग 1400 प्रतीक्षा सूची के अभ्यर्थी असमंजस की स्थिति है
विभिन्न जिलों में अभी तक 1400 पद रिक्त पड़े हैं और अफसर वेटिंग लिस्ट वालों को मौका देने के स्थान पर सेलेक्ट आवेदकों का इंतजार कर रहे हैं। गत गुरुवार को वेटिंग लिस्ट में शामिल प्रदेश के कई जिलों के आवेदक मोतीमहल स्थित भू-अभिलेख एवं बंदोवस्त कार्यालय पहुंचे लेकिन अफसरों ने आवेदन लेकर उन्हें लौटा दिया