तमिलनाडु। तमिलनाडु में शिवकाशी के सत्तुर सरकारी अस्पताल में बड़ी लापरवाही सामने आई है. यहां एक 24 वर्षीय प्रेग्नेंट महिला को अस्पताल के स्टाफ ने एचआईवी संक्रमित खून चढ़ा किया. यह घटना तब सामने आई जब महिला बीमार पड़ने लगी और उसे इलाज के लिए प्राइवेट अस्पताल में भर्ती किया गया. इस खबर के सामने आने के बाद अस्पताल प्रशासन में हड़कंप मच गया और अस्पताल के ब्लड बैंक के तीन लोगों को सस्पेंड किया गया है.
बताया जा रहा है कि एचआईवी संक्रमित खून एक व्यक्ति ने 30 नवंबर को डोनेट किया था. उसने विदेश जाने के पहले विरधुनगर के एक प्राइवेट अस्पताल में खून टेस्ट कराया था, जिसमें वह एचआईवी पॉजिटिव पाया गया था. शक होने पर उसने फिर शिवकाशी के सरकारी अस्पताल में खून डोनेट किया. वहां भी खून एचआईवी पॉजिटिव निकला.
इसके कुछ दिन बाद ही 3 दिसंबर को अस्पताल में प्रेग्नेंट महिला एनीमिया की शिकायत लेकर अस्पताल पहुंची. जहां उसकी मेडिकल जांच के बाद उसे डॉक्टरों ने रक्त चढ़ाने की सलाह दी थी. यहां उसे एचआईवी संक्रमित खून चढ़ा दिया गया.
इस घटना को हुए कुछ दिन बीते ही थे कि महिला बीमार होने लगी. वो अस्पताल पहुंची तो उसके एचआईवी पॉजिटिव होने की बात पता लगी. फिलहाल महिला की काउंसिलिंग की जा रही है और वायरस हटाने एंटीरेट्रोवायरल पर रखा गया है.
इस बारे में खबर मिलने के बाद डिस्ट्रिक्ट मेडिकल डिप्टी डायरेक्टर मनोहरन ने 10 सरकारी ब्लड बैंक और 4 प्राइवेट बल्ड बैंक की जांच के आदेश दिए है.
उधर, महिला के परिवार के सदस्यों ने अस्पताल के अधिकारियों पर लचर रवैये और मेडिकल रिकॉर्ड से छेड़छाड़ करने का आरोप लगाया है. इस घटना के बाद से मरीजों के मन में भी डर है. फिलहाल इस बात की भी जांच की जा रही है कि क्या संक्रमित रक्त किसी अन्य रोगियों को भी चढ़ाया गया था.