खंडवा। बेटी को पढ़ने से रोकने वाले पिता के खिलाफ आपराधिक मामला दर्ज किया है। 19 साल की बेटी बीएससी प्रथम वर्ष में पढ़ रही है। वो डॉक्टर बनना चाहती है। 10वीं में 90 व 12वीं में 80% नंबर लाकर टॉपर बनी थी। पिता एक मजदूर के साथ उसकी शादी करना चाहता है। बेटी ने मना किया तो उस पर जानलेवा हमला कर दिया। मामला शहर से सटे जसवाड़ी गांव का है।
पिताजी ने भाईयों को भी पढ़ने नीं दिया, भगवान किसी को ऐसा पिता न दें
होश संभाला तब से पिता के हाथ मां को पिटते देख रही हूं, इस बार तो हद हो गई। उन्होंने मुझ पर दरांती से वार किया। खेत में मजदूरी कर मां ने मुझे पहली से 12वीं तक किस मुसीबत से पढ़ाया, बता नहीं सकती। पिता मेरी शादी कराना चाहते हैं, लेकिन मैं अभी शादी नहीं करना चाहती। उनका कहना है कि मैं जहां चाहूंगा वहां तेरी शादी कर दूंगा। मैं अभी शादी नहीं करना चाहती। बीएससी प्रथम वर्ष में प्रवेश किया है। पढ़ लिखकर डॉक्टर बनना है। यह मेरा सपना है, मेरी जिद है इसके आगे मैं अपने पिता की नहीं चलने दूंगी। चाहे वह मेरी जान क्यों नहीं ले ले। पिता के ही कारण मेरे दो भाइयों 15 व 17 साल का भविष्य बर्बाद हो गया। दोनों भाई बकरी चराते हैं, जबकि वह भी पढ़ना चाहते थे, लेकिन पिता ने उन्हें स्कूल की पढ़ाई पूरी करने नहीं दी।
अपनी बेटी को पढ़ाने के लिए दिन-रात मजदूरी करूंगी: मां ने कहा
कोतवाली में शुक्रवार शाम एफआईआर दर्ज होने के बाद मां-बेटी और ज्यादा घबरा गई। अब मां को डर है कि कहीं वह उसकी बेटी को जान से न मार दें। पीड़ित युवती की मां ने कहा मैं तो शादी के बाद से ही पति की मार खाते हुए आ रही हूं, और कोई महिला होती तो कब की भाग जाती। बेटी जवान हो गई इसके बाद भी मेरे पति को कुछ समझ नहीं आता। वह हम्माली-मजदूरी करने वालों के हाथ में बीएससी पढ़ रही लड़की का रिश्ता करना चाहते हैं। भलां यह किसे मंजूर होगा। मेरी बेटी पढ़ लिखकर डॉक्टर बनना चाहती है। मैं उसे पढ़ाऊंगी इसके लिए चाहे दिन-रात मजदूरी क्यों न करना पड़े। 10वीं में 90% व 12वीं में 80% अंकों से पास हुई। इसके पहले पांचवीं और आठवीं में भी प्रथम आई थी। मेरी जिद है कि वह पढ़े।
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युवती की शिकायत पर उसके पिता के खिलाफ आईपीसी 294, 323 के तहत प्रकरण दर्ज कर लिया है। गिरफ्तारी के लिए टीम भेजी है। उसे जल्द पकड़ लेंगे।
बीएल मंडलोई, टीआई, कोतवाली