भोपाल। मध्यप्रदेश में कांग्रेस की सत्ता जाने के बाद भाजपा में गए कोलारस विधायक वीरेन्द्र रघुवंशी का रेत कारोबार से कनेक्शन उजागर हो गया है। अब कई तरह की चर्चाएं भी शुरू हो गईं हैं। कहा जा रहा है कि भाजपा विधायक रेत माफियाओं को खुला और लिखित संरक्षण दे रहे हैं। सारी बातें एक चिट्ठी से शुरू हुईं हैं जो विधायक वीरेन्द्र रघुवंशी के लेटरहेड पर है।
क्या लिखा है भाजपा विधायक वीरेन्द्र रघुवंशी ने
प्रदेश में सत्ता परिवर्तन के साथ मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री कमलनाथ ने किसानों की कर्ज माफी के आदेश पर सबसे पहले साइन किए परंतु भाजपा के कोलारस विधायक वीरेन्द्र रघुवंशी ने जो काम किया है वह चौंकाने वाला है। मध्यप्रदेश विधानसभा चुनाव के नतीजे 11 दिसम्बर को आए और भाजपा नेता वीरेन्द्र रघुवंशी ने विधायक बनते ही 29 दिसम्बर को अपने लेटरपेड पर एक आदेश जारी किया जो पूरणखेडी टोल प्रबंधन के नाम था। इसमें उन्होंने 22 डंपरों को टोल फ्री करने का आदेश दिया। सवाल यह खडा होता है कि उक्त डंपर किसके हैं। इन डंपरों में क्या चीज परिवहन की जाती है जो नियमित रूप से होती है। विधायक वीरेन्द्र रघुवंशी का इन डम्फर मालिकों से क्या कनेक्शन है।
रेत माफिया का गढ़ है कोलारस
बता दें कि शिवपुरी जिले के स्थानीय अखबारों में कोलारस क्षेत्र में रेत के अवैध परिवहन की खबरें आए दिन आती रहतीं हैं। पुलिस रिकॉर्ड में भी दर्ज है कि यहां रेत का अवैध परिवहन होता है और कई डंपर पकड़े भी गए हैं। पूर्व में कुछ विवाद भी सामने आए हैं जिसमें पुलिस के संरक्षण में यहां रेत माफिया का कारोबार पनपने के आरोप लगे हैं। भाजपा शासनकाल में ग्वालियर संभाग के एक कद्दावर मंत्री का भी यहां के अवैध रेत कारोबार से कनेक्शन की खबरें आईं थीं। अब देखना यह है कि क्या भाजपा विधायक द्वारा दिए गए नियम विरुद्ध आदेश की जांच होगी और क्या कोई कानून है जो इस तरह के नियम विरुद्ध आदेश जारी करने वाले विधायकों को सजा देता हो।