भोपाल। मप्र राज्य सूचना आयोग में अब फोन पर भी अपीलों की सुनवाई करने की शुरूआत हो गयी है। पक्षकारों को राहत देने के लिए यह नवाचार राज्य सूचना आयुक्त आत्मदीप ने किया है। प्रदेश में यह पहला अवसर है जब सूचना आयुक्त ने फोन पर सुनवाई कर 6 अपीलीय प्रकरणों का निराकरण किया है। देष-दुनिया में भी यह नवाचार संभवतः पहली बार किया गया है।
आयुक्त आत्मदीप ने बताया कि अपीलों व शिकायतों की सुनवाई के लिए मप्र के दूरदराज के जिलों से सूचना आयोग की भोपाल स्थित कोर्ट तक आने-जाने में पक्षकारों को काफी समय लग जाता है। इससे नागरिकों व लोक सेवकों को यात्रा संबंधी असुविधा होने के साथ यात्रा पर जनधन खर्च होता है। अपीलार्थियों के व्यथित पक्ष होने पर भी उन्हें भोपाल आने जाने में अनावश्यक रूप से समय व धन खर्च करना पड़ता है और उनका काम भी प्रभावित होता है। इसी तरह लोक सूचना अधिकारियों, अपीलीय अधिकारियों व संबंधित कर्मचारियों के भोपाल आने जाने पर सार्वजनिक धन खर्च होता है और उनके दफ्तरों का काम भी प्रभावित होता है। पक्षकारों के अनुपस्थित रहने की दषा में आयोग को पुनः सुनवाई नियत करनी पड़ती है जिससे आयोग का काम बढ़ता है और उस पर लोकधन खर्च होता है।
सार्वजनिक हित में इस स्थिति को बदलने के लिए आयुक्त आत्मदीप ने दूरदराज के रीवा, सिंगरौली, सतना व सीधी जिलों के पक्षकारों को पत्र लिखे कि आपसे संबंधित अपील प्रकरण का फोन पर सुनवाई कर निराकरण करने का प्रस्ताव है। ताकि अपीलार्थी, लोक सूचना अधिकारी व अपीलीय अधिकारी को सुनवाई के लिए भोपाल न आना पडे़, आप सबके समय, श्रम व व्यय की बचत हो सके और अपीलार्थी का कामकाज तथा अपीलीय अधिकारी व लोक सूचना अधिकारी का कार्यालयीन कार्य प्रभावित न हो, साथ ही सार्वजनिक संसाधन की बचत की जा सके।
उक्त सद्उद्देश्य से किए जाने वाले इस नवाचार से यदि आप सहमत हों तो फोन पर सुनवाई कर अपील का निराकरण किए जाने हेतु अपनी सहमति अपने फोन/मोबाईल नंबर की जानकारी सहित आयोग को भेजें । ताकि फोन पर शीघ्र सुनवाई कर निराकरण की कार्यवाही की जा सके। सहमति के साथ अपीलार्थी आयोग के समक्ष विचाराधीन प्रकरण के संबंध में अपना लिखित पक्ष भेजें, लोक सूचना अधिकारी अपीलार्थी के आवेदन के निराकरण हेतु की गयी कार्यवाही संबंधी प्रतिवेदन भेजें तथा अपीलीय अधिकारी प्रथम अपील के निराकरण हेतु की गयी कार्यवाही संबंधी प्रतिवेदन भेजें। सहमति प्राप्त न होने की दषा में प्रकरण नियमित सुनवाई में लिया जायेगा।
आयोग के उक्त पत्र के उत्तर में 6 अपीलीय प्रकरणों में सभी पक्षकारों की सहमति प्राप्त हुई जिसके आधार पर आयुक्त आत्मदीप ने फोन पर सुनवाई कर आदेष पारित कर दिए हैं। इनमें सतना के जवाहरलाल जैन की 2 अपीलों पर मप्र पूक्षे विद्युत वितरण कंपनी, सतना व नगर निगम सतना को अपीलार्थी को शीघ्र वांछित जानकारी निःशुल्क प्रदाय कर नियत तिथि तक आयोग के समक्ष सप्रमाण पालन प्रतिवेदन पेश करने हेतु आदेशित किया गया है। जबकि 1 अपील में जैन को प्रदत्त जानकारी पर संतोष व्यक्त करते हुए उन्हें अभिलेख अवलोकन का भी अवसर दिया गया है।
अपीलार्थी जितेन्द्र शुक्ला को मप्र पूक्षे विद्युत वितरण कंपनी, रीवा से वांछित जानकारी दिला दी गयी। रीवा के बाबूलाल साकेत की अपील पर अधीक्षक, कार्यालय संभागायुक्त, रीवा तत्समय अप्राप्त जांच प्रतिवेदन अब प्राप्त हो जाने से जानकारी प्रदाय करने पर सहमत हुए। तदनुसार अपीलार्थी को आवेदन देकर वांछित जानकारी प्राप्त करने हेतु निर्देषित किया गया। सिंगरौली के अन्नू पटेल की अपील पर महिला व बाल विकास विभाग को आवेदन के प्रथम बिंदु की जानकारी निःषुल्क प्रदाय करने हेतु आदेषित किया गया।
आयुक्त आत्मदीप ने इससे पूर्व जबलपुर, ग्वालियर, शिवपुरी, दतिया, भिण्ड आदि जिलों के पक्षकारों को भी फोन पर सुनवाई हेतु सहमति देने के पत्र जारी किए थे। किन्तु किसी अपीलीय प्रकरण में सभी संबंधित पक्षकारों की सहमति प्राप्त न होने के कारण अग्रिम कार्यवाही नहीं की जा सकी।