भोपाल। भोपाल समाचार की खबर का एक बार फिर असर हुआ है। भोपाल समाचार ने 17 मार्च को 'मप्र के 4000 गांव सूखे की चपेट में, कमलनाथ के छिंदवाड़ा में 145 गांव सूखे' रिपोर्ट प्रकाशित की थी। 19 मार्च को सीएम कमलनाथ ने निर्देश जारी कर दिए।
मुख्यमंत्री श्री कमलनाथ ने निरंतर गिरते भूजलस्तर और इसके कारण प्रदेश के विभिन्न स्थानों से आ रही जल-संकट की जानकारी को गंभीरता से लेते हुए शासन-प्रशासन को सचेत एवं सजग रहने को कहा है और इसको लेकर जिम्मेदार अधिकारियों को विस्तृत कार्ययोजना बनाने के निर्देश दिये है। उन्होंने कहा कि आगे आने वाले दिनों में पानी की जरूरतों को देखते हुए आज से ही व्यापक इंतजाम प्राथमिकता के आधार पर करना होंगे।
श्री नाथ ने कहा कि ग्रीष्म ऋतु में सभी नागरिकों को पेयजल की आपूर्ति सुचारु बनाने के लिये पर्याप्त व्यवस्था हों। उन्होंने सभी स्थानीय निकायों से कहा है कि गर्मियों में वे सभी पेयजल स्त्रोतों की मरम्मत का कार्य प्राथमिकता से कर उन्हें चालू करने के साथ ही इसकी गुणवत्ता की भी जाँच करें। उन्होंने जल आपूर्ति व्यवस्था में स्थानीय जन-प्रतिनिधियों का भी सहयोग लेने को कहा है।
मुख्यमंत्री श्री कमल नाथ ने लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी और नगरीय विकास एवं प्रशासन विभाग को निर्देश दिये हैं कि संभावित जल-अभावग्रस्त क्षेत्रों को अभी से चिन्हांकित कर वहाँ पेयजल की उपलब्धता सुनिश्चित करने के लिये पूरे इंतजाम किये जावे। मुख्यमंत्री ने प्रदेश के सभी जन-प्रतिनिधियों से भी कहा है कि वे अपने-अपने क्षेत्रों में स्थानीय लोगों से तालमेल बनाकर लोगों को पेयजल आपूर्ति सुचारू रूप से हो,इसमें सहयोग करें।
मुख्यमंत्री ने सभी जिला कलेक्टर, नगर निगम, नगर पालिका, जिला पंचायत के पदाधिकारियों ,आयुक्त एवं मुख्यकार्यपालन अधिकारियों से कहा है कि वे जल व्यवस्था के संबंध में तत्काल बैठक बुलाएं।जिसमें स्थानीय जन-प्रतिनिधियों और सरपंचों के साथ बैठकर पेयजल आपूर्ति की समीक्षा करें। पेयजल आपूर्ति के लिये समयबद्ध कार्ययोजना बनाएं एवं हर सप्ताह उसकी समीक्षा भी करें। शासन स्तर पर सहयोग की आवश्यकता हो तो तत्काल सूचित करें ताकि समय पर आवश्यक संसाधन उपलब्ध करवाए जा सकें।
कुँओं, ट्यूबवेल, हैंडपंप सहित अन्य शासकीय एवं निजी जलस्त्रोतों का उपयोग करें। जहाँ हैंडपंप, ट्यूबवेल खराब पड़े हैं उन्हें तत्काल दुरुस्त करवाये। पानी की गुणवत्ता पर भी विशेष ध्यान दें ताकि लोगों को इससे होने वाली बीमारियों से बचाया जा सके।
मुख्यमंत्री ने कहा कि जहाँ जल स्त्रोत सूख गए या उपलब्ध नहीं है वहाँ टैंकरों से पानी उपलब्ध कराने की व्यवस्था सुनिश्चित करवाएँ।इसकी रणनीति आज से ही बनाना प्रारंभ करे। पानी के लिए लोगों को दुर्गम क्षेत्रों से व्यवस्था न करना पड़े यह भी सुनिश्चित करें।
मुख्यमंत्री श्री नाथ ने पानी उपलब्ध करवाने के सारे इंतजाम करने के साथ ही आमजन में जल संरक्षण के प्रति जागरूकता लाने के लिए भी अभियान चलाने को कहा है। उन्होंने कहा कि पानी की बर्बादी न हो इसका विशेष ध्यान रखें।साथ ही जिलास्तर पर जल व्यवस्था बनाए रखने के लिए जो भी आवश्यक निर्णय करना है वे समय पर लिए जाएँ। इसके लिये हर संसाधन जुटाने के लिये सरकार हर दम तैयार है।विस्तृत कार्ययोजना बनाकर इस पर काम हो।