शिवराज सिंह चौहान मध्यप्रदेश से बेदखल किए गए | ELECTION NEWS

भोपाल। लगातार 10 साल तक मध्यप्रदेश में भाजपा का चेहरा रहे शिवराज सिंह चौहान को भाजपा ने अब मध्यप्रदेश से बेदखल कर दिया है। विधानसभा चुनाव के बाद सभी प्रकार की रिपोर्ट अमित शाह के सामने पहुंच चुकीं हैं और सभी रिपोर्ट्स में बताया गया कि मप्र में भाजपा के सिमटते जनाधार का कारण शिवराज सिंह चौहान ही थे। उनके कारण संगठन निष्क्रीय हो गया था। उनके 'माई का लाल' बयान के कारण कम से कम 40 सीटों का नुक्सान हुआ है। 

लोकसभा चुनाव के लिए बीजेपी ने पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान से कहा है कि वो 3 दिन मध्यप्रदेश को दें, बाकी दिन वो देश को देंगे। शिवराज ने अपनी भूमिका को लेकर ये साफ कर दिया है कि वो पूरा समय प्रदेश को नहीं देंगे। यहां उनकी सक्रियता सीमित समय के लिए रहेगी। यह हालात बिल्कुल दिग्विजय सिंह जैसे हैं। बता दें कि मध्यप्रदेश में दिग्विजय सिंह के चुनावी दौरों के कारण कांग्रेस के वोट कम हो जाते हैं। कुछ ऐसा ही शिवराज सिंह चौहान के बारे में भी माना गया है। 

सत्ता और संगठन में किसी आगे नहीं बढ़ने दिया
शिवराज सिंह चौहान पर आरोप है कि सीएम पद पर अपनी नियुक्ति से अब तक उन्होंने सत्ता और संगठन में कभी किसी को आगे नहीं बढ़ने दिया। गुटबाजी की स्थिति यह थी कि उन्होंने व्यापमं मामले की आड़ में मंत्री लक्ष्मीकांत शर्मा तक को जेल भिजवाया। हर वो मंत्री जो लोकप्रिय हुआ, उसकी राजनीति को सीमित कर दिया गया। हर वो कार्यकर्ता जो लोकप्रिय हुआ, उसे संगठन में निष्क्रीय किया गया। चुनाव हारने के बाद भी शिवराज सिंह चौहान मध्यप्रदेश में संगठन को स्वतंत्र रूप से काम करने नहीं दे रहे। 

#buttons=(Ok, Go it!) #days=(20)

Our website uses cookies to enhance your experience. Check Now
Ok, Go it!