इंदौर। लोकसभा चुनाव 2019 में बीजेपी के फामूर्ला 75 के चलते सुमित्रा महाजन 'ताई' का टिकट अटक गया है। मंगलवार को इंदौर भाजपा कार्यालय में हुई कोर ग्रुप की बैठक में लोकसभा स्पीकर सुमित्रा महाजन ने यह कहकर सभी को चौंका दिया कि इंदौर से या तो मैं या फिर मोदीजी चुनाव लड़ेंगे। उनका मंतव्य साफ है कि उनका उत्तराधिकारी कैलाश विजयवर्गीय 'भाई' नहीं हो सकता। उनके स्थान पर यदि किसी को लाना है तो वो उनके जैसा कद्दावर नेता होना चाहिए।
अड़ गईं ताई, रिटायरमेंट लेने को तैयार नहीं
दोपहर में भाजपा की इस महत्वपूर्ण बैठक में चुनाव की तैयारियों पर चर्चा चल रही थी। इसी दौरान नगर अध्यक्ष गोपी नेमा ने पूछ लिया कि ताई टिकट का ऐलान कब तक हो जाएगा? इस पर ताई ने कहा कि बेहद जल्द होगा या तो मैं लड़ूंगी या फिर मोदीजी को लड़ना चाहिए। हालांकि मोदी के वाराणसी से चुनाव लड़ने का ऐलान हो चुका है। इस बार भी वे दो सीट से चुनाव लड़ेंगे या नहीं? इसे लेकर भी स्थिति स्पष्ट नहीं है। पार्टी का कहना है कि भाजपा में ऐसी परंपरा नहीं है कि स्थानीय इकाई ऐसा किसी तरह का प्रस्ताव बना कर भेजे। नगर अध्यक्ष ने सिर्फ यह कहा कि कोर ग्रुप की बैठक की चर्चा सार्वजनिक नहीं की जाती। यह बैठक चुनावी तैयारी को लेकर थी।
मेरी जगह मोदीजी चुनाव लड़ें
बैठक के बाद अनौपचारिक चर्चा में सुमित्रा महाजन ने कहा कि मोदीजी अगर इंदौर से चुनाव लड़तें हैं तो इसका पूरे प्रदेश पर जबर्दस्त असर पड़ेगा और शहर के लिए भी यह गौरव की बात होगी। बता दें कि कैलाश विजयवर्गीय लगातार कोशिश कर रहे हैं कि इंदौर लोकसभा से उन्हे टिकट मिल जाए। उन्हे विश्वास है कि यदि वो सांसद बने तो नरेंद्र मोदी मंत्रीमंडल में मंत्री भी बनेंगे। वो आश्वस्त हैं कि इंदौर सीट से वो आसानी से जीत जाएंगे लेकिन भाजपा का एक और फार्मूला है, एक परिवार एक टिकट और वो 'कैकेयी हठ' करके अपने बेटे आकाश विजयवर्गीय को विधानसभा का टिकट भी दिलवा चुके हैं।