भोपाल। बिजली कंपनी ने बड़े ही गर्व के साथ उपभोक्ताओं के लिए हेल्पलाइन नंबर 1912 जारी किया था परंतु जब उपभोक्ताओं को हेल्प की जरूरत पड़ी तो 1912 लगा ही नहीं। भोपाल में आंधी और बारिश का प्रकोप कोई 30 मिनट का ही रहा होगा परंतु हालात यह थे कि 2 घंटे से ज्यादा बिजली गुल रही और 1912 लग ही नहीं रहा था।
जोन के कर्मचारी हेल्पलाइन पर भेज दिए
रविवार रात को ही तेज आंधी से सप्लाय सिस्टम प्रभावित हुआ तो 1912 पर शिकायत करने वालों की बाढ़ आ गई। दो-दो घंटे तक शिकायत दर्ज नहीं हो रही थी। 1912 पर एक ही समय में 90 लोग शिकायत सुनते हैं। इसे और बढ़ाने के लिए 30 जोन के ऑपरेटर्स बुला लिए हैं। सोमवार को सभी 30 जोन के सहायक इंजीनियर को इस संबंध में आदेश जारी कर दिया गया कि आउटसोर्स के जरिए रखे गए ऑपरेटर को मुख्यालय भेज दिया जाए, जबकि होना यह था कि जिस आउटसोर्स फर्म की सेवाएं ली जा रही हैं, उसी से 1912 की संख्या बढ़ाने के लिए नए कर्मचारी लिए जाने चाहिए थे।
अधिकारी कहते हैं कि हम सेंट्रल कंट्रोल रूम दुरुस्त कर रहे हैं
इन दिनों बादल छा रहे हैं। तेज हवा और बारिश के कारण बिजली लाइन खराब हो रही है। रविवार रात को ही शहर का काफी हिस्सा घंटों तक अंधेरे में रहा। 1912 पर शिकायत दर्ज नहीं होती तो उपभोक्ता बिल पर दिए जोन के शिकायत नंबर पर संपर्क कर समस्या बता देता था। अब चूंकि सभी कर्मचारी 1912 में लगा दिए हैं, इसलिए केवल इसी टोल फ्री नंबर पर शिकायत दर्ज हो सकेगी। बिजली कंपनी के एमडी विकास नरवाल का कहना है कि सेंट्रल कंट्रोल रूम की व्यवस्था को ज्यादा मजबूत करने के लिए 30 जोन के आपरेटर बुलाए हैं, लेकिन एक ही शिफ्ट के। दो शिफ्ट के आपरेटर जोन पर रहेंगे। वैसे भी 1912 पर ही 90 फीसदी शिकायत आ रही हैं। रात में 90 फीसदी शिकायत 1912 पर दर्ज हो सकेंगी। इसलिए सेंट्रल कंट्रोल रूम की क्षमता को बढ़ाया है। रात में फाॅल्ट होने पर लोगों को शिकायत दर्ज कराने में ज्यादा इंतजार नहीं करना पड़ेगा।