मैं प्रज्ञा ठाकुर का प्रचार नहीं करूंगी: शिवराज सिंह समर्थक महिला नेत्री का ऐलान | BHOPAL NEWS

Bhopal Samachar
भोपाल। मध्यप्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री एवं भाजपा के सबसे ताकतवर नेता शिवराज सिंह चौहान की नजदीकी महिला नेता फातिमा रसूल सिद्दीकी ने भोपाल से भाजपा प्रत्याशी साध्वी प्रज्ञा सिंह ठाकुर का प्रचार नहीं करने का ऐलान कर दिया है। बता दें कि ये वही फातिमा रसूल सिद्दीकी हैं जिन्हे शिवराज सिंह ने भाजपा ज्वाइन करते ही ना केवल विधानसभा चुनाव का टिकट दिया था बल्कि ऐलान किया था कि यदि फातिमा रसूल सिद्दकी जीतीं तो मंत्री बनाई जाएंगी। 

मोदी तुझसे बैर नहीं, साध्वी तेरी खैर नहीं

फातिमा ने गुरुवार को कहा, ‘मैं उनके (प्रज्ञा सिंह ठाकुर) लिए चुनाव प्रचार नहीं कर रही हूं, क्योंकि उन्होंने धर्म युद्ध छेड़ने जैसे बयान दिए हैं। 26/11 को मुंबई के आतंकी हमले में शहीद होने वाले पुलिस अधिकारी हेमंत करकरे के खिलाफ उनका विवादास्पद बयान भी मुझे बुरी तरह आहत कर गया।’ उन्होंने कहा, ‘धर्मयुद्ध और करकरे के खिलाफ प्रज्ञा का बयान मेरे समुदाय में भी अच्छा नहीं रहा है।’ फातिमा ने साध्वी प्रज्ञा से करकरे परिवार और मुसलमानों से माफी की मांग की है। साथ ही वह कहती हैं, 'मोदी तुझसे बैर नहीं, साध्वी तेरी खैर नहीं।'

साध्वी के कारण मुसलमानों में शिवराज की छवि खराब हुई

मध्य प्रदेश के पूर्व कैबिनेट मंत्री मरहूम रसूल अहमद सिद्दीकी की बेटी फातिमा ने कहा, ‘उनके बयान से पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की छवि खराब हुई है, जिनका मुसलमानों से अच्छा संपर्क है।’ उन्होंने कहा कि शिवराज सिंह चौहान गंगा जमुनी तहजीब (धर्मनिरपेक्ष संस्कृति) के एक मजबूत समर्थक हैं। बीजेपी नेता ने कहा, ‘मेरे समुदाय के लोगों में उनके (शिवराज चौहान के) प्रति बहुत सम्मान है।’ यह पूछे जाने पर कि क्या वह अपने पिता की पार्टी कांग्रेस में शामिल होने जा रही हैं, फातिमा ने कहा, ‘नहीं’।

शिवराज ने घर से बुलाकर चुनाव लड़ाया था

डेंटिस्ट की पढ़ाई कर रही फातिमा राजनीति में कुछ समय पहले ही आई हैं। शिवराज सिंह ने उन्हें मुस्लिम बहुल विधानसभा सीट भोपाल (उत्तर) से कांग्रेस के कद्दावर नेता आरिफ अकील को शिकस्त देने के इरादे से नवंबर 2018 में ही भाजपा में शामिल कर बीजेपी का उम्मीदवार बनाया था। फातिमा के पक्ष में अच्छी संख्या में मुस्लिम महिलाओं के प्रचार में शामिल होने के बावजूद वह यह चुनाव अकील से 34,857 मतों के अंतर से हार गई थीं। अकील मध्य प्रदेश की कांग्रेस सरकार में मुस्लिम समुदाय के अकेले मंत्री हैं।

#buttons=(Ok, Go it!) #days=(20)

Our website uses cookies to enhance your experience. Check Now
Ok, Go it!