भोपाल समाचार डेस्क। यह फोटो 1954 में लिया गया था। इस फोटो में भारत का एक महान खिलाड़ी दिखाई दे रहा है। चित्र में ये सभी लोग फुटबॉल खेलने जा रहे हैं। यह फोटो इंग्लेंड (England) में लिया गया था। भारत का यह महान क्रिकेट खिलाड़ी (Great cricket player) इंग्लेंड में शिक्षा अर्जित करने गया था।
यह हैं भोपाल के आखरी नवाब जिन्हे लोग 'टाइगर पटौदी' (Tiger Pataudi) भी कहते थे। पूरा नाम मंसूर अली खान पटौदी, (Mansoor Ali Khan Pataudi) पहचान भारतीय क्रिकेट टीम के पूर्व कप्तान। इनका जन्म 5 जनवरी 1941 को भोपाल के नवाब खानदान में हुआ था। भोपाल (BHOPAL) उन दिनों नवाब की रियासत थी जो अब मध्यप्रदेश राज्य की राजधानी है। इस शहर को झीलों का शहर भी कहते हैं। बुजुर्ग कहते हैं कि भोपाल का तालाब दुनिया का सबसे बड़ा तालाब है, यह समंदर जैसा है। बॉलीवुड के प्रसिद्ध अभिनेता सैफ अली खान, नवाब पटौदी (Saif Ali Khan, Nawab Pataudi) के पुत्र हैं।
क्रिकेट के मैदान पर 'टाइगर' कहे जाने वाले मंसूर अली खान पटौदी की जिंदगी किसी फिल्म से कम नहीं। हादसे में एक आंख की रोशनी खो जाना,नवाबों वाली शान-शौकत के साथ जिंदगी जीना और अपने दौर की मशहूर अदाकार शर्मिला टैगोर से इश्क लड़ाने के लिए भी वे काफी चर्चित हुए।
होते भी क्यों ना, उन दिनों शर्मिला टैगोर (Sharmila Tagore) की गिनती सबसे खूबसूरत एक्ट्रेसेज में हुआ करती थी। मंसूर अली खान पटौदी के क्रिकेट करियर की कहानी जितनी रोचक है, उतना ही मजेदार है बॉलीवुड एक्ट्रेस शर्मिला टैगोर के साथ उनकी मोहब्बत का किस्सा। रिपोर्ट्स के मुताबिक, शर्मिला और मंसूर अली की पहली मुलाकात दिल्ली में हुई थी।
पहली ही मुलाकात में पटौदी शर्मिला टैगोर को दिल दे बैठे, लेकिन मोहब्बत की राह यहां भी कठिन थी, क्योंकि टाइगर पटौदी नवाब खानदान से थे और शर्मिला बॉलीवुड एक्ट्रेस। दोनों के धर्म अलग थे, लेकिन इश्क बदस्तूर जारी था।
लोगों ने कहा कि यह रिश्ता चलेगा नहीं लेकिन दोनों ने दुनिया को गलत साबित किया और रिश्ता निकाह तक पहुंचा। टाइगर पटौदी और शर्मिला टैगोर के रोमांस से जुड़ा एक मजेदार किस्सा है। दरअसल, रिश्ते के शुरुआती दिनों में टाइगर पटौदी ने शर्मिला टैगोर को गिफ्ट में रेफ्रिजरेटर दिया था।
इसके अलावा एक किस्सा यह भी मशहूर है कि क्रिकेट के मैदान में मंसूर अली खान शर्मिला टैगोर का स्वागत छक्के से किया करते थे। कहा जाता है कि शर्मिला टैगोर जहां भी बैठती थी, मंसूर अली खान उसी दिशा में छक्का मारा करते थे। शर्मिला को मंसूर से शादी करने के लिए इस्लाम धर्म अपनाना पड़ा था।
इतिहासकारों की मानें तो शर्मिला टैगोर को निकाह के लिए भोपाल की आखिरी नवाब और टाइगर पटौदी की मां साजिदा सुल्तान (Sajida Sultan )की शर्त माननी पड़ी। जिसके लिए शर्मिला ने बिना सोचे हां कर दी थी। इस्लाम धर्म अपनाकर शर्मिला टैगोर आयशा सुल्तान हो गईं और 27 दिसम्बर साल 1969 में दोनों का निकाह हो गया।
शर्मिला के एक्टिंग के प्यार को मंसूर बखूबी समझते थे। तभी तो वे शादी के बाद भी फिल्में करती रहीं और मंसूर उन्हें पूरा सपोर्ट करते रहे। शर्मिला से मंसूर को तीन बच्चे हुए- सैफ अली खान, सोहा अली खान और सबा अली खान। सबा अली देश की जानी-मानी ज्वैलरी डिजाइनर हैं।
क्रिकेट में नवाब पटौदी का योगदान
महज 21 साल की उम्र में भारतीय टीम की कप्तानी संभालने वाले पटौदी ने टीम का मनोबल बदल कर रख दिया था। उन्होंने ही पहली बार टीम इंडिया को यह समझाया कि सिर्फ डिफेंस ही नहीं, ऑफेंस भी क्रिकेट का नियम है। इससे पहले तक क्रिकेट को बचाव करने वाला खेल माना जाता था। बॉलर हमलावर होता था और बल्लेबाज को अपना विकेट बचाना होता था। टाइगर की अगुवाई में ही टीम इंडिया ने पहली बार साल 1967 में न्यूजीलैंड को टेस्ट सीरीज में उसकी ही धरती पर हराया था। टाइगर ने अपने करियर में कुल 46 टेस्ट मैच खेले, जिनमें से 40 मैच उनकी कप्तानी में खेले गए। टाइगर ने अपने करियर में 6 शतकों की मदद से कुल 2,793 रन बनाए।