भोपाल। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ ने बुधवार को अपने अनुषांगिक संगठनों और संघ विचारधारा से जुड़ी संस्थानों के पदाधिकारियों के साथ एक बैठक का आयोजन किया। लोकसभा चुनाव के बीच आयोजित हुई इस बैठक का मुख्य और एकमात्र मुद्दा चुनाव ही था। आरएसएस की ओर से बैठक में अखिल भारतीय राष्ट्रीय प्रचार प्रमुख अरुण कुमार उपस्थित थे। इस दौरान संघ के भीतर नोटा की दहशत साफ नजर आई। इसके अलावा 5 लोकसभा सीटों पर कुनबे में कलह भी उभरकर सामने आई। माना गया कि यह कलह खत्म नहीं हुई तो सीटें हाथ से जा सकतीं हैं।
स्वयंसेवक घर-घर जाकर नोटा के खिलाफ अभियान चलाएंगे
बैठक में तय किया गया कि स्वयंसेवक घर-घर जाकर लोगों से कहेंगे कि ‘नोटा’ में वोट न करें, लेकिन मत जरूर डालें। इसके लिए वे गुरुवार से ही सक्रिय होंगे। बाकायदा टोली बनाई जाएगी। वे राष्ट्रवाद और देश की सुरक्षा से जुड़े मुद्दों को जनता के बीच फैलाएंगे। बैठक को अखिल भारतीय राष्ट्रीय प्रचार प्रमुख अरुण कुमार ने संबोधित किया। बैठक में क्षेत्र प्रचारक दीपक विस्पुते भी मौजूद रहे।
भोपाल सहित 5 सीटें कुनबे में कलह के कारण खतरे में
इसमें मध्यभारत प्रांत के अधीन आने वाली पांच सीटों भोपाल, बैतूल, होशंगाबाद, विदिशा और राजगढ़ सीट का फीडबैक भी लिया गया। इसमें भाजपा व अनुषांगिक संगठनों के नेताओं के बीच की नाराजगी व मनमुटाव पर भी बात हुई। संघ नेताओं ने भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष राकेश सिंह की मौजूदगी में इन मामलों को निपटाया।
विदिशा और राजगढ़ पर अलग से बात हुई
इसके अलावा भोपाल-विदिशा में प्रत्याशी घोषित नहीं होने का मामला भी उठा। राजगढ़ में मौजूदा प्रत्याशी का विरोध हुआ तो संघ नेताओं ने मामला शांत कराया। अरुण कुमार ने नरेंद्र सिंह तोमर, सुहास भगत से वन-टू-वन बात भी की।