कर्जदार शिक्षक ने बीमा कराया, मजदूर की हत्या कर अपनी मौत घोषित कर दी | BALAGHAT MP NEWS

Bhopal Samachar
बालाघाट। सरकारी शिक्षक जीतेंद्र ठाकरे ने ज्यादा पैसा कमाने के लिए नौकरी के साथ प्राइवेट स्कूल खोल लिया। इसके लिए उसने कर्ज लिया। स्कूल चल नहीं पाया। कर्ज चुकाने के लिए उसने अपना 20 लाख रुपए का बीमा करवाया और एक मजदूर को लाकर उसकी हत्या कर दी। योजनाबद्ध हत्याकांड में जीतेंद्र ठाकरे के परिजनों ने शव की शिनाख्त भी कर दी। सबकुछ प्लानिंग के हिसाब से जा रहा था परंतु कहते हैं ना कि हत्या का मामला कभी रहस्य नहीं रह पाता। अंतत: यह रहस्य भी खुल ही गया। 

मामले का खुलासा करते हुए एसपी अभिषेक तिवारी ने बताया कि शनिवार को जिला मुख्यालय से 50 किलोमीटर दूर घाटी में जले हुए टाटा मैजिक पास ही खाई में पुलिस को एक अधजला शव मिला था। रविवार को शव की शिनाख्त उसके परिजनों ने बंदरिया निवासी जीतेंद्र ठाकरे पेशा शिक्षक के रूप में की थी। इसके बाद शव परिजनों को सौंप दिया गया और उन्होंने उसका अंतिम संस्कार भी कर दिया। 

मोबाइल लोकेशन से पकड़ाया: 

मामला हत्या का था। पुलिस जांच में पता चला कि जिस व्यक्ति की हत्या हुई है उसका मोबाइल चालू है और उसकी लोकेशन बार-बार बदल रही है। पुलिस ने इसी आधार पर उसकी आखिरी लोकेशन गांधी चौक सिवनी में ट्रैस की गई। पुलिस ने अपने मुखबिर तंत्र को सक्रिय कर दिया। आरोपी अपने पास मोबाइल तो रखे था लेकिन किसी भी का भी फोन उठा नहीं रहा था। पुलिस ने जब कई स्थानों पर ऐसे ही कॉल किया और जब एक संदिग्ध बार-बार घंटी बजने के बाद भी मोबाइल नहीं उठाया तो उसे धरदबोचा। 

आरोपी कर्ज से था परेशान: 

पुलिस गिरफ्त में आने के बाद आरोपी ने बताया कि जिस व्यक्ति का शव मिला है उसका नाम भरवेली निवासी दिलीप सोनवानी है। उसी ने उसकी हत्याकर शव जला दिया था। आरोपी जीतेंद्र ने पुलिस को बताया है कि सरकारी शिक्षक होने के अलावा वो खुद का स्कूल भी चलाता है। मकान के कर्ज के अलावा उसने स्कूल बस भी कर्ज लेकर खरीदी थी। लेकिन इनकम इतनी नहीं हो रही थी कि वो किस्ते तक चुका पाए। इसलिए उसने अपना बीमा कराया। और किसी ओर की हत्या कर बीमा की राशि लेने का प्लान बनाया। 

ऐसे दिया घटना को अंजाम: 

जीतेंद्र ने पुलिस को बताया कि शनिवार को घटनाक्रम वाले दिन उसने बालाघाट के राज घाट चौक स्थित मजदूर मिलने वाले स्थान से एक अपने कद गाटी के व्यक्ति को अपनी टाटा मैजिक में बैठा लिया और कंजेई घाटी ले गया। यहां मैजिक खड़ा करके उसने मजदूर से इंजन में पानी डालने कहा। मजदूर पानी की कैन लेकर जैसे ही इंजन की तरफ गया, जीतेंद्र ने मजदूर के सिर पर लौहे की छड़ से हमला कर दिया। 

मैजिक में लगाई आग: 

छड़ से हमले के बाद मजदूर सड़क पर गिर गया। जीतेंद्र ने उसे घसीटकर मैजिक में डाल दिया और गाड़ी में आग लगा दी। इतने में मजदूर को होश आ गया और वह खाई की तरफ भागने लगा। मजदूर के पीछ जीतेंद्र भी भागा। थोड़ी दूर भागने के बाद मजदूर ठोकर लगने के बाद गिर गया। मजदूर के गिरते ही जीतेंद्र ने उसके सिर तीन चार भारी पत्थर पटक दिए। सिर कुचले जाने से मजदूर की वहीं मौत हो गई।

रात में जलाया था शव: 

मजदूर की हत्या करने के बाद जीतेंद्र जंगल में छिप गया और रात होने का इंतजार करने लगा। जब रात हो गई तो वह वहां से निकला और एक कैन में पेट्रोल खरीदकर ले आया। रात में उसने मजदूर के शव को भी जला दिया। इसके बाद उसने अपने परिजनों को घटना के बारे मे विस्तार से बताया औऱ उन्हें क्या करना है ये भी कहा। जीतेंद्र के कहे अनुसार उसके परिजनों ने लाश की शिनाख्त जीतेंद्र के रूप में कर अंतिम संस्कार कर दिया। 

पीएम रिपोर्ट में हुआ था खुलासा: 

शॉर्ट पीएम रिपोर्ट ने बताया गया था कि मौत जलने से नहीं शरीर में खून की कमी से हुई है। शव पर कई जगह चौट के निशान भी थे। स्वास्थ्य केंद्र के चिकित्सकों ने इस बात का पहले ही खुलासा कर दिया था कंजेई में मिले शव की जलने से नही खून की कमी से हुई है और उसके के पीठ के पीछे चोट के निशान थे। जिस कारण यह स्पष्ट हो गया था कि उस व्यक्ति की हत्या की गई है। पुलिस की यह पूरी स्टोरी गले नहीं उतर रही थी किस व्यक्ति की हत्या की गई है और कैसे व्यक्ति वहां जाकर जलकर मर गया। लिहाजापूरे मामले पर बारीकी से जांच शुरू की गई और आरोपी पुलिस की गिरफ्त में आ गया।

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