कुआलालंपुर: मलेशिया में हैरान कर देने वाले वाकये में एक लड़की ने सोशल मीडिया पर लोगों की राय लेकर आत्महत्या कर ली। रिपोर्ट्स के मुताबिक, सारावाक सूबे की रहने वाली 16 वर्षीय किशोरी ने इंस्टाग्राम पोल के बाद खुद की जान ले ली। बुधवार को मिली मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, किशोरी ने इंस्टाग्राम पर पोल-पोस्ट डालकर अपने फोलोवर्स से पूछा कि क्या उसे मर जाना चाहिए, या नहीं। करीब 69 प्रतिशत लोगों ने पोस्ट पर हां में प्रतिक्रिया दी, जिसके बाद किशोरी ने अपनी जान ले ली।
रिपोर्ट्स के मुताबिक, सारावाक राज्य पुलिस ने बताया कि पीड़िता ने फोटो शेयरिंग ऐप पर पोल-पोस्ट डाला, ‘बहुत महत्वपूर्ण, चुनने में मदद करें डी/एल (डेथ/लिव)।’ इसके बाद कई लोगों ने डेथ पर मत दिया, जिसके बाद किशोरी ने खुद को मार डाला। वहीं इस मौत के बाद एक वकील ने सुझाव दिया कि जिन लोगों ने हां में मत दिया उनपर आत्महत्या के लिए उकसाने का दोष लग सकता है। वकील और पेनाग के एनस्टेट के सांसद रामकरपाल सिंह ने कहा, ‘आज अगर नेटिजेंस किशोरी को अपनी जान लेने के लिए हत्सोत्साहित करते तो क्या आज वह जिंदा नहीं होती?’
उन्होंने कहा, ‘उन नेटीजेंस का प्रोत्साहन क्या उसके निर्णय को इतना प्रभावित कर सकता है कि वो अपनी जान ले लेगी? हालांकि इस देश में आत्महत्या का प्रयास अपराध है, तो किसी को आत्महत्या के लिए उकसाना भी अपराध से कम नहीं।’ वहीं फरवरी में इंस्टाग्राम ने 'संवेदनशील स्क्रीन' लॉन्च करने की घोषणा की थी, जिससे कि खुद को नुकसान पहुंचाने वाली तस्वीरों को ब्लॉक किया जा सके। यह कदम तब उठाया गया, जब 2017 में 14 साल की ब्रिटिश किशोरी मौली रसेल ने अपनी जान ले ली थी। उसके माता-पिता का मानना था कि उसने खुद की जान लेने से पहले एप पर आत्महत्या और खुदकुशी की तस्वीरें देखीं थी।
लड़की ने लिखा- यह सवाल वाकई बहुत अहम
पुलिस ने बताया कि लड़की ने मंगलवार दोपहर पोस्ट में लिखा कि यह सवाल मेरे लिए सच में बहुत अहम है। जिंदगी या मौत चुनने में मेरी मदद करें। इस पोस्ट पर 69 प्रतिशत लोगों ने 'मौत' के लिए हां कहा। इसके बाद लड़की ने इमारत से कूदने का फैसला किया। पुलिस ने कहा कि शव पोस्टमॉर्टम के लिए भेजा गया है। इसके बाद कुछ और तथ्य सामने आएंगे। हालांकि, वह लड़की डिप्रेशन में थी।
स्थानीय रिपोर्ट के मुताबिक, लड़की के सौतेले पिता ने वियतनाम की महिला से शादी कर ली थी। शायद इसी वजह से वो काफी दुखी थी। सांसद रामकरपाल सिंह ने कहा कि भविष्य में ऐसी घटनाएं न हो इसके लिए जानना जरूरी है कि किन परिस्थितियों में लड़की ने जान दी। अगर इंस्टाग्राम पर लड़की को मरने के लिए नहीं कहा जाता तो शायद वो आज जिंदा होती।
रिपोर्ट्स के मुताबिक, सारावाक राज्य पुलिस ने बताया कि पीड़िता ने फोटो शेयरिंग ऐप पर पोल-पोस्ट डाला, ‘बहुत महत्वपूर्ण, चुनने में मदद करें डी/एल (डेथ/लिव)।’ इसके बाद कई लोगों ने डेथ पर मत दिया, जिसके बाद किशोरी ने खुद को मार डाला। वहीं इस मौत के बाद एक वकील ने सुझाव दिया कि जिन लोगों ने हां में मत दिया उनपर आत्महत्या के लिए उकसाने का दोष लग सकता है। वकील और पेनाग के एनस्टेट के सांसद रामकरपाल सिंह ने कहा, ‘आज अगर नेटिजेंस किशोरी को अपनी जान लेने के लिए हत्सोत्साहित करते तो क्या आज वह जिंदा नहीं होती?’
उन्होंने कहा, ‘उन नेटीजेंस का प्रोत्साहन क्या उसके निर्णय को इतना प्रभावित कर सकता है कि वो अपनी जान ले लेगी? हालांकि इस देश में आत्महत्या का प्रयास अपराध है, तो किसी को आत्महत्या के लिए उकसाना भी अपराध से कम नहीं।’ वहीं फरवरी में इंस्टाग्राम ने 'संवेदनशील स्क्रीन' लॉन्च करने की घोषणा की थी, जिससे कि खुद को नुकसान पहुंचाने वाली तस्वीरों को ब्लॉक किया जा सके। यह कदम तब उठाया गया, जब 2017 में 14 साल की ब्रिटिश किशोरी मौली रसेल ने अपनी जान ले ली थी। उसके माता-पिता का मानना था कि उसने खुद की जान लेने से पहले एप पर आत्महत्या और खुदकुशी की तस्वीरें देखीं थी।
लड़की ने लिखा- यह सवाल वाकई बहुत अहम
पुलिस ने बताया कि लड़की ने मंगलवार दोपहर पोस्ट में लिखा कि यह सवाल मेरे लिए सच में बहुत अहम है। जिंदगी या मौत चुनने में मेरी मदद करें। इस पोस्ट पर 69 प्रतिशत लोगों ने 'मौत' के लिए हां कहा। इसके बाद लड़की ने इमारत से कूदने का फैसला किया। पुलिस ने कहा कि शव पोस्टमॉर्टम के लिए भेजा गया है। इसके बाद कुछ और तथ्य सामने आएंगे। हालांकि, वह लड़की डिप्रेशन में थी।
स्थानीय रिपोर्ट के मुताबिक, लड़की के सौतेले पिता ने वियतनाम की महिला से शादी कर ली थी। शायद इसी वजह से वो काफी दुखी थी। सांसद रामकरपाल सिंह ने कहा कि भविष्य में ऐसी घटनाएं न हो इसके लिए जानना जरूरी है कि किन परिस्थितियों में लड़की ने जान दी। अगर इंस्टाग्राम पर लड़की को मरने के लिए नहीं कहा जाता तो शायद वो आज जिंदा होती।