भोपाल। मध्यप्रदेश की कमलनाथ सरकार ने प्रदेश के रिटायर्ड कर्मचारियों को बड़ी राहत दी है। मंत्रि-परिषद ने पेंशनरों/परिवार पेंशनरों को महंगाई राहत में वृद्धि के आदेश मध्यप्रदेश पुनर्गठन अधिनियम, 2000 की धारा 49 के अंतर्गत छत्तीसगढ़ शासन की सहमति की जरूरत को भी समाप्त करने का निर्णय लिया। इसके बाद अब पेंशनर्स के मामले में किसी भी निर्णय के लिए मध्यप्रदेश स्वतंत्र हो गया। उसे छत्तीसगढ़ के निर्णय का इंतजार नहीं करना पड़ेगा।
मध्य प्रदेश मंत्रिमंडल की यहां सोमवार को हुई बैठक में राज्य सरकार के कर्मचारियों को महंगाई भत्ते (DA) में तीन प्रतिशत की बढ़ोतरी करने का निर्णय लिया। मुख्यमंत्री कमलनाथ (Kamal Nath) की अध्यक्षता में सोमवार को बैठक हुई। सरकार की तरफ से जारी बयान के अनुसार, सोमवार देर शाम मुख्यमंत्री कमलनाथ की अध्यक्षता में हुई मंत्रिमंडल की बैठक में तीन प्रतिशत महंगाई भत्ता बढ़ाने का निर्णय लिया गया।
मध्य प्रदेश के स्थाई कर्मचारियों-अधिकारियों, पंचायत सचिवों, पेंशनर्स व पेंशनर्स परिवारों को सातवें वेतनमान के आधार पर एक जनवरी, 2019 से तीन प्रतिशत महंगाई भत्ता दिया जाएगा। बयान के अनुसार, इस निर्णय से सात लाख कर्मचारियों और साढ़े चार लाख पेंशनर्स को लाभ मिलेगा। इससे सरकार पर 1647 करोड़ रुपये का अतिरिक्त वार्षिक व्यय का भार पड़ेगा।