बेंगलुरू। कथित इस्लामिक बैंक और हलाल निवेशक कंपनी आई मॉनेटरी एडवाइडरी ज्वैलर्स (आईएमए) मामले में हजारों लोगों को धोखा देने के आरोप में कंपनी के सात निदेशकों को बुधवार को हिरासत में लिया गया। वहीं कर्नाटक सरकार ने मामले की तहकीकात करने के लिए 11 सदस्य विशेष जांच दल (एसआईटी) का गठन किया है।
पुलिस के उच्च स्तरीय सूत्रों ने बताया कि अलग अलग इलाकों से सात लोगों को हिरासत में लिया गया है। इससे पहले, सरकार ने दिन में 11 सदस्यीय एसआईटी के गठन का ऐलान किया था। बेंगलुरू की आईएमए ज्वैलर्स कंपनी का मालिक मोहम्मद मंसूर खान एक ऑडियो में कथित रूप से खुदकुशी की धमकी देकर गायब हो गया था।
पुलिस ने आईएमए ज्वैलर्स और खान के खिलाफ मामले दर्ज किए हैं और खान का पता लगाने के लिए टीमें बनाई हैं। मुख्यमंत्री एचडी कुमारस्वामी ने बुधवार को ट्वीट किया कि एसआईटी की अगुवाई, पुलिस उपमहानिरीक्षक बीआर रविकांत गौड़ा करेंगे।
निवेशक, कंपनी के शिवाजीनगर इलाके में स्थित दफ्तर में लगातार तीन दिन से डेरा डाले हुए हैं ताकि पुलिस और सरकार पर दबाव बने और उनका पैसा वापस मिले। इस बीच, पुलिस उपायुक्त राहुल कुमार शाहपुरवाड ने कहा कि अबतक कंपनी के खिलाफ 13,000 शिकायतें मिली हैं।
खान का एक ऑडियो क्लिप आया है जिसमें वह आरोप लगा रहा है कि उसने शिवाजीनगर से कांग्रेस के वरिष्ठ विधायक और पूर्व मंत्री आर रोशन बेग को 400 करोड़ रुपये दिए हुए हैं जो वह नहीं लौटा रहे हैं।
बेग ने आरोपों को खारिज करते हुए कहा उनके सियासी विरोधियों ने उनकी छवि को खराब करने के लिए चीजें गढ़ी हैं। बेग और भारतीय जनता पार्टी ने मामले की सीबीआई जांच की मांग की है।