भोपाल। राज्य शासन ने वन-रक्षक भर्ती परीक्षा की जिला स्तर पर संधारित प्रतीक्षा-सूची को राज्य-स्तर पर संधारित करने में हुई विसंगतियों की जाँच के लिये प्रधान मुख्य वन संरक्षक (उत्पादन) की अध्यक्षता में समिति गठित की है। समिति में अपर प्रधान मुख्य वन संरक्षक (प्रशासन-1), पदेन सचिव वन सदस्य और अपर प्रधान मुख्य वन संरक्षक (प्रशासन-2) सदस्य सचिव मनोनीत किये गये हैं। समिति जाँच प्रतिवेदन 10 जून तक राज्य शासन को देगी।
वन-रक्षक भर्ती परीक्षा 2013 घोटाला में 2000 पेज का चालान पेश
भोपाल। वनरक्षक भर्ती परीक्षा 2013 मामले में 44 अभ्यर्थी, मध्यस्थ व दलालों के खिलाफ सीबीआई ने व्यापमं मामलों की विशेष अदालत में चालान पेश किया है। सीबीआई ने न्यायिक मजिस्ट्रेट प्रकाश डामोर की अदालत में करीब दो हजार पन्नों का चालान पेश किया है जिसमें 140 पन्नों का आरोप पत्र है, साथ ही 150 गवाहों की सूची पेश की है।
एसटीएफ ने 6 पूरक चालान पेश किये
इस मामले में पूर्व में एसटीएफ ने जांच करते हुए 6 पूरक चालान पेश किये हैं जिसमें 40 आरोपितों के नाम शामिल किए गए। मामले की जांच सीबीआई को मिलने के बाद चार नए आरोपितों के नाम जोड़ते हुए अंतिम चालान पेश किया है। नए आरोपितों दिनेश कुमार और सुधांशु कुमार को अदालत ने 11 जून 2019 तक न्यायिक अभिरक्षा में भेज दिया है जबकि दो आरोपित आशीष कुमार और रोहित सिंह के खिलाफ गिरफ्तारी वारंट जारी किया गया है।
क्या है मामला
व्यावसायिक परीक्षा मंडल द्वारा प्रदेश के विभिन्न् शहरों में 3 मार्च 2013 को वनरक्षक भर्ती परीक्षा आयोजित की गई थी। परीक्षा में हुई धांधली के खिलाफ अज्ञात लोगों ने शिकायतें की थी। शिकायत के आधार पर जांच की गई तो पता चला कि परीक्षा में शामिल मूल अभ्यर्थी के स्थान पर अन्य व्यक्ति स्कोरर के रूप में शामिल हुए थे, इस काम में अभ्यर्थियों से पूरे घोटाले में शामिल दलालों ने मोटी रकम प्राप्त की थी।
एसटीएफ ने जांच के दौरान मूल अभ्यर्थियों और स्कोरर के रूप में शामिल हुए व्यक्तियों से सख्ती से पूछताछ की थी। परीक्षा में प्रयोग की गई ओएमआर शीट पर अंगूठे का निशान और लिखावट में भी मूल अभ्यर्थी और स्कोरर से मिलती नहीं पाई गई थी।