भोपाल। धारा प्रवाह लोक लुभावन भाषणों में सिद्धहस्त शिवराज सिंह चौहान ने एक बार फिर किसानों के बीच मन मोह लेने वाला बयान दिया है। बारिश में बर्बाद हुए किसानों के बीच शिवराज सिंह ने कहा कि 'जब तक सांस चलेगी, चिंता मत करना। आपके हक की लड़ाई लड़ता रहूंगा।' बता दें कि 15 साल के शासनकाल में शिवराज सिंह खेती को फायदे का सौदा बनाने में नाकाम रहे और किसानों के विरोध के चलते सत्ता से विमुख हुए।
शिवराज सिंह ने ट्वीट कर कहा है कि सीहोर और देवास के किसानों ने मुझे रोका और अपनी सोयाबीन की बर्बाद फसलें दिखाई। फसल अगर बर्बाद होती है तो किसान की जिंदगी और उसके बच्चों का भविष्य तबाह एवं बर्बाद होता है। प्रदेश सरकार से मैं बात करूंगा। इस फसल का तत्काल सर्वे कराकर राहत और बीमा की राशि दी जानी चाहिए।
शिवराज ने कहा, "सरकार से मेरी पहली लड़ाई यही है कि किसानों का कर्जा माफ करो। मुआवजा दो, फसल बीमा की राशि दो। मैं किसानों के साथ हूं, जब तक सांस चलेगी, चिंता मत करना। आपके हक की लड़ाई लड़ता रहूंगा।" यहां याद दिलाना जरूरी है कि मुख्यमंत्री रहते हुए शिवराज सिंह किसानों का कर्ज माफ करने के खिलाफ थे।
मैने किसानों को 300 करोड़ रुपए का मुआवजा दिया था
मैं जब मुख्यमंत्री था और एक साल सोयाबीन बहुत कम निकला था तो मैंने 300 करोड़ रुपये से ज्यादा किसानों के खाते में डालने का काम किया, लेकिन यह ऐसी असंवेदनशील सरकार है कि मुख्यमंत्री की कौन कहे, अफसर भी खेतों में फसलें देखने नहीं आए।
कमलनाथ सरकार जो कहती है, कभी करती नहीं है
यह सरकार केवल झूठ बोलने का काम कर रही है। आज तक एक गौशाला खुली हो, तो मुझे बता दे। कभी कहती है कि कर्जा माफ कर दिया, कभी कहती है कि बेरोजगारी भत्ता दे दिया। यह सरकार जो कहती है, कभी करती नहीं है।