भोपाल। पटवारियों के भारी विरोध के बाद अंतत: जीआईएस सॉफ्टवेयर ने काम करना शुरू कर दिया है। सरकारी सूत्रों ने दावा किया है कि मध्य प्रदेश के 21 जिलों में किसानों को घर बैठे भू-अभिलेख प्रतिलिपियां प्राप्त होंगी। आवेदन का भी कोई शुल्क नहीं लगेगा।
कार्यालय के चक्कर नहीं लगाने पड़ेंगे
प्रदेश के 21 जिलों के किसानों के लिए बुधवार से वेब जीआईएस साफ्टवेयर से भू-अभिलेख प्रतिलिपि देने का काम शुरू हो गया। इससे किसानों को घर बैठे भू-अभिलेख प्रतिलिपियां मिलने से उन्हें किसी कार्यालय के चक्कर नहीं लगाने पड़ेंगे। इन जिलों के लोक सेवा केंद्रों पर डिजिटल हस्ताक्षरित भू-अभिलेख की प्रतिलिपियां (बंधक, दर्ज खसरा, व्यपवर्तन प्रमाण पत्र) मिलना शुरू हो गया है।
इन जिलों में शुरू हुई नई व्यवस्था
जिन जिलों में यह व्यवस्था शुरू की गई है उनमें शहडोल, सीधी, मंदसौर, रतलाम, देवास, धार, अनूपपुर, अशोकनगर, आगर मालवा, श्योपुर, उमरिया, नीमच, निवाड़ी और कटनी शामिल हैं। भू-अभिलेख प्रतिलिपि के लिए आवेदन नि:शुल्क रहेगा। राज्य शासन ने 1 अगस्त 2019 से प्रतिलिपि प्रदाय की दरों का सरलीकरण भी कर दिया है।