नवग्रहों के राजा सूर्यदेव राशि परिवर्तन करने जा रहे हैं। अंग्रेजी केलेंडर के अनुसार दिनांक 18 अक्टूबर को 00:41 बजे कन्या से तुला राशि में प्रवेश करेंगे और 17 नवंबर 00:30 बजे तक इसी राशि में रहेंगे। आइए जानते हैं सूर्य के इस राशि परिवर्तन का सभी राशियों पर क्या प्रभाव होगा।
मेष: सूर्य देव का गोचर मेष राशि से सप्तम भाव में होने जा रहा है. इस भाव को विवाह भाव भी कहा जाता है. सूर्य के गोचर के चलते आपके वैवाहिक जीवन में कुछ परेशानियां आ सकती हैं. इसके साथ ही पारिवारिक स्थिति भी बहुत अच्छी नहीं रहेगी. भाई-बहनों के साथ किसी बात को लेकर आपकी कहासुनी हो सकती है. सूर्य के इस गोचर के दौरान आपके स्वभाव में क्रोध अधिकता हो सकती है. इस समय अपने मन को नियंत्रित करने की कोशिश करें. बिजनेस में आपसी मतभेदों के कारण पार्टनर के साथ कुछ विवाद हो सकता है. प्रेम संबंधों में भी इस दौरान कुछ परेशानियां हो सकती हैं. छात्रों के लिए ये समय अच्छा रहेगा. इस दौरान बुरी संगति से बचकर रहें.
वृषभ: सूर्य देव का गोचर इस राशि से षष्ठम भाव में होगा. सूर्य के इस गोचर के दौरान आपको अच्छे फल मिलने की उम्मीद है. इस समय आप अपने लक्ष्य के प्रति केंद्रित रहेंगे. आपके अंदर हर स्थिति का डटकर सामना करने का भाव रहेगा. इस राशि के छात्रों के लिए सूर्य का यह गोचर बहुत लाभदायक रहने वाला है. छात्रों को अपनी मेहनत का अच्छा फल मिल सकता है. पारिवारिक जीवन में संपत्ति से जुड़ा कोई छोटा-मोटा विवाद इस समय हो सकता है लेकिन फैसला आपके पक्ष में ही आएगा. किसी पुरानी बीमारी से छुटकारा मिल सकता है. सरकारी नीतियों से आपको लाभ होने की भी संभावना है.
मिथुन: सूर्य का गोचर मिथुन राशि से पंचम भाव में होगा. ये भाव संतान भाव भी कहलाता है. नौकरी पेशा से जुड़े लोगों के लिए ये गोचर शुभ रहेगा. इस समय आपकी पदोन्नति के भी योग बन रहे हैं. आपके कार्य को सराहना मिलेगी जिससे कार्यक्षेत्र में और भी अच्छा प्रदर्शन कर पाएंगे. इस समय छात्रों का मन चंचल रहेगा और पढ़ाई में ध्यान नहीं लगेगा. आर्थिक पक्ष कमजोर रहेगा. इस समय सोच समझकर निवेश करें. इस अवधि में स्वास्थ्य भी कमजोर रह सकता है, लापरवाही न करें. प्रेम जीवन के लिए ये समय अच्छा है. जिनकी अभी तक शादी नहीं हुई हैं उन्हे इस दौरान जीवनसाथी मिल सकता है.
कर्क: सूर्य के तुला राशि में गोचर के दौरान आपका चतुर्थ भाव सक्रिय अवस्था में रहेगा. इस भाव को सुख भाव भी कहा जाता है. इस गोचर के दौरान आपकी माता की सेहत में गिरावट आ सकती है, जिसके चलते आपको मानसिक तनाव होगा. वैवाहिक जीवन में किसी बात को लेकर जीवनसाथी के साथ कहासुनी हो सकती है जिसका असर आपकी प्रोफेशनल जिंदगी पर भी पड़ेगा. इस दौरान आपका मन बार-बार भटकेगा. पारिवारिक जीवन को व्यवस्थित करने की कोशिश करें. अपनी आर्थिक स्थिति को मजबूत करने के लिए इस समय अपना पुराना वाहन या प्रोपट्री बेच सकते हैं. छात्रों को शिक्षा के क्षेत्र में अच्छे फल पाने के लिए इस दौरान सार्थक प्रयास करने पड़ेंगे.
सिंह: सूर्य देव आपकी राशि से तृतीय भाव में गोचर करेंगे. इस दौरान आप खुद को ऊर्जावन महसूस करेंगे और हर काम को पूरी रचनात्मकता के साथ करेंगे. इस दौरान आपको किसी पुरानी बीमारी से छुटकारा मिल सकता है. नौकरी पेशा से जुड़े लोगों को कार्यक्षेत्र में नया मुकाम हासिल हो सकता है. सामाजिक जीवन में भी आप अच्छा प्रदर्शन करेंगे और अपनी तार्किक बुद्धि से लोगों को अपनी ओर आकर्षित करेंगे. इस गोचर के दौरान छोटी दूरी की यात्राएं करनी पड़ सकती हैं, जिससे आपका स्वास्थ्य भी बिगड़ सकता है. जरूरी कामों में व्यवधान आ सकता है. आलस्य को अपने पर हावी न होने दें और सेहत को दुरुस्त बनाए रखें.
कन्या: सूर्य ग्रह का गोचर कन्या राशि से द्वितीय भाव में होने के कारण आपकी वाणी में इस दौरान कर्कशता आ सकती है. आपके बात करने का तरीका आपके कुछ करीबियों को आपसे दूर कर सकता है. इसलिए इस दौरान आपको सोच-समझकर बात करने होगी. छोटी-छोटी बातों को लेकर आप परिवार के लोगों पर क्रोधित हो जाएंगे, इससे परिवार में अशांति बनी रहेगी. अपने गुस्से पर काबू रखें. सेहत को लेकर आपको सचेत रहने की जरुरत है. सूर्य के इस गोचर की अवधि में आपको आंखों से जुड़ी समस्याएं हो सकती हैं. इस समय आपको अपने खर्चों पर लगाम लगाने की जरुरत है. अपने पार्टनर को नजरअंदाज न करें.
तुला: सूर्य देव का संचरण आपकी राशि से प्रथम भाव या आपके लग्न भाव में होगा. ये गोचर आपको स्वास्थ्य संबंधी कुछ परेशानियां दे सकता है. इसके साथ ही आपके व्यवहार में भी इस समय चिड़चिड़ापन आएगा. बेवजह छोटी-छोटी बातों पर अपने परिवार वालों के साथ झगड़ा कर सकते हैं. अपने गुस्सैल स्वभाव को बदलने की कोशिश करें वरना आप अपना ही नुकसान कर बैठेंगे. खर्चे पर नियंत्रण करने के लिए आपको एक अच्छा बजट प्लान बनाना चाहिए. इस दौरान बाहर खाना खाने से बचे नहीं तो पेट से जुड़ी कोई समस्या हो सकती है. विदेशों में पढ़ाई कर रहे इस राशि के जातकों को इस समय अच्छे फल मिल सकते हैं.
वृश्चिक: सूर्य का गोचर आपकी राशि से द्वादश भाव में होगा. कारोबारियों को इस दौरान विदेश यात्रा करनी पड़ सकती है. मानसिक तनाव से परेशान रहेंगे. इस समय आपको कोई भी ऐसा काम नहीं करना चाहिए जिससे आपकी छवि खराब हो. बुरे लोगों की संगति में रहने से बेहतर होगा कि आप अकेले रहें. खर्चों में बढ़ोतरी हो सकती है. इस दौरान आपको शारीरिक दर्द और आंतों से जुड़ी परेशानियां हो सकती हैं. आपके पिता इस समय आपके भविष्य को लेकर आपको कोई महत्वपूर्ण सलाह दे सकते हैं.
धनु: सूर्य का आपकी राशि से एकादश भाव में संचरण होगा. सूर्य के गोचर के दौरान आपको अच्छे फल मिलने की पूरी उम्मीद है. कार्यक्षेत्र में इस समय आपको अपने सीनियर्स का साथ मिलेगा और लाभ प्राप्ति के नये मार्ग खुलेंगे. आपके स्वास्थ्य में सकारात्मक बदलाव आएगा. आप अपने परिवार वालों के साथ किसी धार्मिक यात्रा पर जा सकते हैं. पिता के साथ आपके संबंधों में भी निखार आएगा और उनके जरिये आपको लाभ होने की भी पूरी संभावना है. छात्रों के लिए अच्छा समय है और उनका पूरा ध्यान पढ़ाई में लगेगा.
मकर: सूर्य देव का गोचर आपकी राशि से दशम भाव में होगा. इस भाव को कर्म भाव भी कहा जाता है. आप सरकारी नौकरी करते हैं तो इस दौरान आपका प्रमोशन हो सकता है. कार्यक्षेत्र में इस समय आपके सम्मान में वृद्धि हो सकती है. किसी बात को लेकर किसी से कहासुनी हो सकती है, इसलिए शब्दों का चुनाव सोच समझकर करें. पारिवारिक जीवन में इस वक्त कुछ उतार-चढ़ाव आ सकते हैं. कुछ गलतफहमियों की वजह से आपके करीबी आपसे दूर हो सकते हैं. इस दौरान सिगरेट- शराब से दूर रहें, लोगों के बीच आपकी छवि खराब हो सकती है.
कुंभ: कुंभ राशि के जातकों के लिए सूर्य का गोचर उनकी राशि से नवम भाव में होगा. इस दौरान आपके पिता के स्वास्थ्य में गिरावट आने की संभावना है. किसी बात को लेकर पिता के साथ आपका मनमुटाव भी हो सकता है. आर्थिक पक्ष कमजोर रह सकता है. इस समय आपको अपने विरोधियों से सावधान रहने की जरुरत है. जीवन में आ रही परेशानियों को दूर करने के लिए इस समय आपको अपने किसी भरोसेमंद दोस्त से मिलना चाहिए. आपका गुस्सा आपको अपने प्रेमी से दूर कर सकता है. अपने पार्टनर के साथ समय बिताएं और उनकी बातों को उनके तरीके से समझने की कोशिश करें.
मीन: सूर्य का गोचर आपकी राशि से अष्टम भाव में हो रहा है. इस भाव को आयु भाव भी कहा जाता है. इस गोचरीय काल में आप अपने लक्ष्य से भटक सकते हैं और लक्ष्य को हासिल करने में आपको परेशानियां भी आ सकती हैं. इस दौरान आपको धैर्य बनाए रखने की जरूरत है. किसी अच्छे दोस्त की सलाह ले सकते हैं. इस गोचर के दौरान आपको अपने गुस्से पर काबू रखना होगा. तैलीय और मसालेदार भोजन से जितना दूर रहेंगे आपके, स्वस्थ के लिए उतना अच्छा रहेगा. गैर-कानूनी काम से खुद को दूर रखें वरना समाज में आपकी छवि खराब हो सकती है.