भोपाल। सीआरपीएफ में सिपाही अमाेल अशोक काकड़े ने तीन शादियां की हैं। जब तीसरी पत्नी काे पहली दाे शादियाें की जानकारी लगी ताे उसने भाेपाल फैमिली काेर्ट की शरण ली। उसका कहना है कि अमाेल ने पहली और दूसरी शादी की बात छुपाई है। वहीं अमाेल का कहना है कि उसने शादी नहीं की, बल्कि दूल्हे की ड्रेस पहनकर शादी की रिहर्सल की थी। मामला प्रधान न्यायाधीश आरएन चंद की काेर्ट में विचाराधीन है।
दिल्ली में सीआरपीएफ की 139 बटालियन में बतौर सिपाही पदस्थ अमाेल अशाेक काकड़े ने पहली शादी महाराष्ट्र के मलकापुर निवासी युवती से 2008 में की थी। इस शादी से उसके दाे बच्चे हैं। उसके बाद उसने दूसरी शादी मई 2014 में मयूर विहार फेस-3 निवासी युवती से की। इसके बाद सितंबर 2014 में ही पूरी रीति रिवाज से भाेपाल की युवती से शादी की। चार साल बाद युवती काे पता चला कि अमोल ने पहले भी दाे शादियां की है और इस साजिश में उसके ससुराल वाले भी शामिल हैं।
सास-ससुर ने कभी जिक्र तक नहीं किया
युवती ने काउंसलर काे बताया कि चार साल में वह कई बार अपने ससुराल महाराष्ट्र गई, लेकिन सास-ससुर या अन्य रिश्तेदाराें ने भी पति की पिछली शादियों का काेई जिक्र तक नहीं किया। यहां तक कि दिल्ली में पति के साथ रह रही थी तब भी सास-ससुर वहां आए, लेकिन तब भी उन्हाेंने काेई जिक्र नहीं किया।
दूसरी पत्नी मिली तब हुआ खुलासा
तीसरी पत्नी का कहना है कि जब अमोल की दूसरी पत्नी काे पता चला कि उसने भाेपाल में भी शादी की है तो उसने मुझसे संपर्क किया। महिला का आरोप है कि उसने काउंसलिंग के बाद अमोल ने मामला वापस लेने के लिए बीच सड़क पर मारपीट की। युवती ने काेलार थाने में धाेखे से शादी करने और प्रताड़ना का केस दर्ज कराया है।
वह साबित करे कि मैंने उससे शादी की है
अमोल का कहना है कि मैंने शादी नहीं की है, बल्कि दूल्हे की ड्रेस पहनकर रिहर्सल कर रहा था। मुझे फंसाया जा रहा है। काउंसलर सरिता राजानी ने जब समाज की उपस्थित की बात की ताे वह चुप हाे गया। उसका कहना है कि ये साबित करें कि मैंने इससे शादी की है। जब शादी ही नहीं की ताे भरण-पाेषण किस बात का।