कहते हैं पोर्न वीडियो देखने से अपराध की भावना बढ़ती है, रिश्तों में दरार आने लगती है। यदि यह सही है तो भारत खतरे में है, क्योंकि इस देश में यदि कोई एक काम है जो सबसे ज्यादा जनसंख्या कर रही है तो वो है पोर्न फिल्मों को देखना। भारत पोर्न फिल्मों का एक बड़ा बाजार है। यहां पोर्न की लोकप्रियता इतनी है कि एक पोर्न स्टार को बॉलीवुड में महत्वपूर्ण जगह दी गई और दर्शकों ने ना केवल उसे स्वीकार किया, बल्कि सराहना भी की। इंडिया टुडे सेक्स सर्वे की रिपोर्ट में दावा किया गया है कि 2019 में भारत के 85 प्रतिशत पुरुष और 71 प्रतिशत महिलाओं ने पोर्न वीडियो देखे। इनमें नियमित और कभी कभी वाले शामिल हैं।
इंडिया टुडे सेक्स सर्वे, 2019 में भारतीयों ने पोर्न वेबसाइट की सर्फिंग या पोर्न देखने को लेकर खुलासा किया है। भारत में जहां पोर्न कंटेंट को ब्लॉक करने पर जोर दिया जा रहा है। वहीं, इस सर्वे में 79 प्रतिशत भारतीयों ने नियमित रूप से या कभी-कभार पोर्न देखने की बात कबूली है।
इस शोध का हिस्सा न सिर्फ पुरुष बल्कि महिलाएं भी समान रूप से शामिल थीं। किशोरों द्वारा पोर्न देखने को लेकर लंबे समय से बहस चली आ रही है। विशेषज्ञ पॉर्न वेबसाइटों को किशोरों के लिए उनकी कामुक इच्छाओं का संतुष्ट करने का एक जरिया मानते हैं।
सर्वे में सामने आए परिणामों में 85.5 फीसद पुरुषों ने यह माना था कि वह नियमित रूप से या कभी-कभार पोर्न देखते हैं। इस मामले में महिलाएं भी पुरुषों से बहुत ज्यादा पीछे नहीं थी।
सर्वे में 71% महिलाओं ने पोर्न देखने की बात पर सहमति जताई थी। जाहिर सी बात है कि महिलाओं के पोर्न देखने का कारण भी पुरुषों जैसा ही हो सकता है।
साइबर सुरक्षा विशेषज्ञ रितेश भाटिया कहते हैं, 'सोशल नेटवर्किंग साइट्स, डेटिंग पोर्टल और स्मार्टफोन एप बड़े पैमाने पर सेक्सटॉर्शन और साइबर स्टॉकिंग जैसे अपराधों में योगदान करते हैं।'
विशेषज्ञों का कहना है कि पोर्न की लत से अपराध में वृद्धि तो होती ही है, साथ ही यौन असुरक्षा भी पैदा हो रही। वे पोर्न कंटेंट को रिश्तों में कड़वाहट घोलने के लिए भी जिम्मेदार मानते हैं।
इस विषय पर साइकोलॉजिस्ट सादिया सलीद का कहना है, 'पोर्न की लत किशोरों में तेजी से फैल रही है। लोगों को लगता है कि थकानभरे दिन के बाद वास्तव में यौन संबंध बनाने के झंझट की बजाए इसके माध्यम से आनंद प्राप्त करना ज्यादा आसान है।'
सलीद बताती हैं कि इंटरनेट की वजह से किशोरों के यौन व्यवहार में भी काफी बड़ा बदलाव देखने को मिला है। आज यौन संबंधों और अंतरंगता के विषय पर सलाह लेने वाले रोगियों की संख्या पहले से काफी ज्यादा हुई है।
सर्वे से ये भी पता लगता है कि भारतीय वर्जिनिटी के मामले में अब भी लकीर के फकीर हैं। इंडिया टुडे सेक्स सर्वे 2019 के मुताबिक, भारत में 53 फीसदी लोग अपने पार्टनर की वर्जिनिटी को बहुत गंभीरता से लेते हैं।
क्या आपने कभी अपने पार्टनर के साथ बेवफाई करने के बारे में सोचा है? इस सवाल के जवाब में इंदौर में 85 फीसदी लोगों ने हां में जवाब दिया, लखनऊ में हां कहने वालों की संख्या 46.5 फीसदी और गुरुग्राम में 42.6 फीसदी रही।
बता दें कि इंडिया टुडे सेक्स सर्वे 23 जनवरी 2019 से 20 फरवरी 2019 तक 4,028 लोगों से बातचीत पर आधारित है। इसमें तीन आयु वर्ग 14-29, 30-49 और 50-69 वर्ष के लोगों से संपर्क किया गया था।