भोपाल। मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह को एकतरफा दलित ऐजेंडे के लिए भी जाना जाता है। एक बार फिर वो अपने ऐजेंडे को आगे बढ़ाते नजर आ रहे हैं। अहिरवार समाज के सम्मेलन में उन्होंने ऐलान किया कि आउट सोर्स एवं दूसरी प्रावइेट नौकरियों में भी जातिगत आधार पर आरक्षण लागू किया जाएगा। उन्होने आरक्षित जातियों से अपील की कि वो आरएसएस का साथ ना दें क्योंकि आरएसएस सिर्फ हिंदू कार्ड पर काम करता है।
आउट सोर्स यानी प्राइवेट भर्तियों में भी आरक्षण दिया जाएगा
दिग्विजय सिंह ने अपने संबोधन में आरक्षण की वकालत की। उन्होंने कहा कि, 'आरक्षण अवसर है, ये बुनियादी सोच है। आरक्षण नहीं होता तो क्या के आर नारायण राष्ट्रपति के पद तक पहुंचते। उन्होंने आरएसएस पर भी निशाना साधा। उन्होंने कहा कि अब देश में लड़ाई विचारधारा की है। मैं आरएसएस के खिलाफ इसलिए बोलता हूं, क्योंकि उनकी विचारधारा देश के हित में नहीं है। आरएसएस सिर्फ हिंदू राष्ट्र के एजेंडे पर चलता है।' दिग्विजय सिंह ने यह भी कहा कि अहिरवार समाज की मांगों पर सीएम से चर्चा हुई है। आउट सोर्स में एसटी-एसएसी को मौका देने पर विचार हो रहा है।
जातिवाद की राजनीति के लिए दिग्विजय सिंह का यू-टर्न
मध्य प्रदेश के पूर्व सीएम दिग्विजय सिंह अपना एक वादा भूल गए। 24 घंटे भी नहीं लगे और उन्होंने अपना ही संकल्प तोड़ दिया। वादा ये था कि वो किसी सार्वजनिक कार्यक्रम में मंच पर नहीं बैठेंगे। राजधानी भोपाल के समन्वय भवन में अहिरवार समाज का राष्ट्रीय अधिवेशन था। पूर्व सीएम दिग्विजय सिंह इसमें मंच पर बैठे। हाल ही में उन्होंने एक विज्ञप्ति जारी कर ऐलान किया था कि वो किसी सार्वजनिक कार्यक्रम में मंच पर नहीं बैठेंगे लेकिन इसके 24 घंटे के भीतर ही वो अपने इस ऐलान को लगता है भूल गए। अहिरवार समाज के कार्यक्रम में वो आए और बाकायदा 3 घंटे तक मंच पर बैठे।
दिग्विजय सिंह के जनहितकारी फैसलों के कारण सत्ता चली गई थी: मंत्री ने कहा
कार्यक्रम में मंत्री प्रभुराम चौधरी भी मौजूद थे। उन्होंने दिग्विजय सिंह के कार्यकाल की याद दिलाई। उन्होंने कहा जिन कामों को साहस के साथ दिग्विजय सिंह ने किया, उसके लिए हिम्मत चाहिए। जनता के हित में लिए गए उन्हीं फैसलों की वजह से खुद दिग्विजय सिंह और पार्टी को नुकसान भी उठाना पड़ा। चौधरी ने कहा कि प्राइवेट सेक्टर में आरक्षण देने की व्यवस्था भी सरकार कर रही है।