इंदौर। शांति एवं कानून-व्यवस्था बनाये रखने के लिये इंदौर जिले में किसी भी स्थल पर बगैर अनुमति के जुलूस, मौन जुलूस, रैली, सभा, आमसभा, धरना प्रदर्शन आयोजित करने पर प्रतिबंध लगाया गया है। साथ ही प्रतिबंधात्मक अवधि में अस्त्र-शस्त्र धारण करने तथा उनके प्रदर्शन पर भी पूर्ण प्रतिबंध रहेगा। इस संबंध में कलेक्टर एवं जिला दण्डाधिकारी श्री लोकेश कुमार जाटव ने दण्ड प्रक्रिया संहिता 1973 की धारा 144 के अंतर्गत प्रतिबंधात्मक आदेश जारी किये हैं।
जारी आदेश का उल्लंघन करने वालों के विरुद्ध भारतीय दण्ड संहिता की धारा-188 एवं अन्य दण्डात्मक प्रावधानों के अंतर्गत कार्यवाही की जायेगी। कलेक्टर द्वारा जारी प्रतिबंधात्मक आदेश आगामी 8 फरवरी 2020 तक प्रभावशील रहेगा। इस अवधि में इंदौर जिले की सीमा के अंतर्गत किसी भी स्थल पर बिना अनुमति के किसी भी प्रकार का जुलूस, मौन, जुलूस, रैली, सभा, आमसभा, धरना प्रदर्शन आदि पर प्रतिबंध रहेगा। साथ ही सभी प्रकार के अस्त्र-शस्त्र धारण करने तथा उनके प्रदर्शन पर भी प्रतिबंध लगाया गया है। न्यायाधिपति, न्यायाधीश, प्रशासनिक अधिकारी, शासकीय अभिभाषक, सुरक्षा एवं अन्य किसी शासकीय कर्तव्य पालन के समय ड्यूटी पर लगाये गये सुरक्षा बलों एवं अर्द्ध सैनिक बलों, विशिष्ट व्यक्तियों/अधिकारी की सुरक्षा हेतु लगाये गये पुलिसकर्मी, बैंक गार्ड उक्त प्रतिबंध से मुक्त रहेंगे।
प्रतिबंधात्मक अवधि में किसी भी प्रकार के कटआउट, बैनर, पोस्टर, फ्लैक्स, होर्डिंग, झण्डे आदि जिन पर किसी भी धर्म, व्यक्ति, सम्प्रदाय, जाति या समुदाय के विरुद्ध नारे या अन्य भड़काऊ भाषा का इस्तेमाल किया गया हो, का प्रकाशन एवं उसका किसी भी निजी एवं सार्वजनिक स्थल पर प्रदर्शन पूर्णत: प्रतिबंधित रहेगा। किसी भी सार्वजनिक अथवा निजी भवन/संपत्ति पर आपत्तिजनक भाषा अथवा भड़काऊ नारे लिखे जाने पर भी प्रतिबंध लगाया गया है।उक्त अवधि में मध्यप्रदेश कोलाहल नियंत्रण अधिनियम 1985 के प्रावधानों के अंतगर्त डी.जे, लाउडस्पीकर जैसे ध्वनि विस्तारक यंत्र का उपयोग बिना सक्षम अधिकारी की अनुमति के प्रतिबंधित रहेगा।