भोपाल। अभी तक भोपाल के प्राइवेट कॉलेज और यूनिवर्सिटी में ड्रग्स की सप्लाई की खबरें आती थी लेकिन आज एक ऐसा खुलासा हुआ है जिससे पता चलता है कि ड्रग्स माफिया भोपाल की गली-गली तक पहुंच गया है। 15 साल की एक लड़की से उसकी मां की उम्र की एक महिला ने मौसी बनकर जान पहचान बढ़ाई, फिर उसे नशे का आदी बना दिया। इसके बाद उसे गंदे धंधे में उतार दिया गया।
उड़ता भोपाल: मासूम लड़कियों को शिकार बना रहा है ड्रग्स माफिया
लड़की की उम्र 15 साल है। वह ऐशबाग में रहती है। ड्रग्स माफिया की एक बंदी हाउसिंग बोर्ड कॉलोनी निशातपुरा में रहती है। किसी महिला ने 15 साल की लड़की के साथ जान पहचान बढ़ाई, फिर उसे अपने घर बुलाने लगी। लड़की, महिला को मौसी कहकर पुकारती थी। मुंह बोली मौसी उसे घर पर बड़े प्यार से खाना खिलाती थी। लड़की अनजान थी कि उसके खाने में ड्रक्स मिलाया गया था। लड़की को पता ही नहीं चला उसे कब ड्रग्स की लत लग गई। उसे तो बस मौसी के घर का खाना पसंद था। जिस दिन वह मौसी के यहां खाना नहीं खाती थी, उसे बहुत बुरा लगता था। वह अक्सर मौसी के घर जाने लगी। खाना खाने के बाद लड़की मौसी के घर ही सो जाती थी। महिला को जब विश्वास हो गया कि लड़की ड्रग्स की आदी हो चुकी है तो उसने प्लान पर काम करना शुरू किया। नशे की हालत में 1 दिन इमरान नाम के लड़के ने उसके साथ रेप किया। इसके बाद छोटे इमरान नाम के लड़के ने भी उसके साथ रेप किया और फिर यह सिलसिला शुरू हो गया। लड़की को कई ग्राहकों के पास भेजा गया। लड़की को पता चल चुका था कि वह नशे की लत का शिकार हो चुकी है लेकिन उसके पास अब कोई रास्ता नहीं था। 5 महीने तक यह सब कुछ चलता रहा।
भोपाल में ड्रग्स के रैकेट का खुलासा कैसे हुआ
जब लड़की की मां को पता चला कि उनकी बेटी नशे की लत का शिकार हो चुकी है तो उन्होंने अपने परिचितों से इसके इलाज के बारे में बात की। इसी प्रक्रिया में उन्हें नशा मुक्ति केंद्र का पता चला। नशा मुक्ति केंद्र में काउंसलिंग के दौरान लड़की ने अपनी सारी कहानी बयां कर दी। नशा मुक्ति केंद्र, बाल कल्याण समिति और गौरवी संस्था होते हुए यह मामला अब पुलिस के पास है। देखते हैं माफिया के खिलाफ काम कर रही मध्य प्रदेश सरकार और भोपाल पुलिस क्या ड्रग्स के माफिया तक पहुंच पाएगी।