दुनिया में बहुत से देश है जिनके पास परमाणु बम है। हमारे पड़ोसी पाकिस्तान के पास भी परमाणु बम है। कहते हैं उत्तर कोरिया और इसराइल जैसे देश किसी भी प्रकार का हमला करने से पहले ज्यादा विचार नहीं करते। कहा यह भी जाता है कि अमेरिका के राष्ट्रपति के पास दुनिया के किसी भी देश पर परमाणु हमला करने के सभी अधिकार सुरक्षित होते हैं। सवाल यह है कि दुनिया के सबसे बड़े लोकतांत्रिक देश भारत जिसमें किसी छोटे से मुद्दे पर भी संसद में एक राय कायम नहीं होती, क्या कभी जरूरत पड़ने पर परमाणु हमला कर पाएगा। हां यह जानते हैं भारत में परमाणु बम का कोर्ट किसके पास होता है और हमले का अधिकार किसके पास।
भारत में परमाणु बम का स्मार्ट कोड किसके पास होता है
यह तो आप जानते ही हैं कि भारत ने अमेरिका जैसे देश से दुश्मनी मोल लेकर परमाणु बम बनाया है। इसलिए निश्चित तौर पर परमाणु बम भारत के लिए बहुत महत्वपूर्ण है। परमाणु मामलों के विशषज्ञों के अनुसार, प्रधानमंत्री की टेबल पर ऐसा कोई बटन परमाणु बटन नही होता है जिसे दबाकर किसी भी देश पर परमाणु हमला किया जा सके लेकिन भारत के प्रधानमंत्री के पास एक स्मार्ट कोड जरूर होता है जिसके बिना परमाणु बम को छोड़ा नही जा सकता है।
परमाणु हमले के संबंध में अंतिम फैसला कौन लेता है
यहाँ पर यह बताना जरूरी है कि किसी देश पर परमाणु हमले के लिए एक पूरा प्रोसीजर होता है। ऐसा बिलकुल नही है कि प्रधानमंत्री ने कहा कि किसी देश पर परमाणु हमला कर दो और वैज्ञानिकों ने तुरंत हमला कर दिया लेकिन यह भी सच है कि भारत में परमाणु हमला करने के संबंध में अंतिम निर्णय लेने का अधिकार प्रधानमंत्री के पास सुरक्षित होता है। लेकिन प्रधानमंत्री निर्णय तभी ले सकते हैं जब सुरक्षा मामलों की कैबिनेट कमेटी, राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार और चेयरमैन ऑफ़ चीफ ऑफ़ स्टाफ कमेटी दृढ़ता पूर्वक यह सिफारिश करे कि इसके अलावा अब कोई विकल्प शेष नहीं रह गया है। प्रधानमंत्री चाहे तो तब भी हमले को रोक सकते हैं। Notice: this is the copyright protected post. do not try to copy of this article
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