सुनील सिंह परिहार। कटनी कलेक्टर के शैक्षणिक व्यवस्था संबंधी आदेश के प्रदेश व्यापी विरोध से डीईओ कटनी ने निशुल्क अध्यापन के लिए अतिथि शिक्षकों को वरीयता देने आदेश जारी किया है। अधिकारी इस तरह के आदेश जारी करके अतिथि शिक्षकों का अपमान कर रहे हैं।
विगत 13 वर्षों से अतिथि शिक्षक बहुत ही अल्प मानदेय पर सेवाएं देते आ रहे हैं। वर्ष में बड़ी मुश्किल से साथ आठ माह के लिए रोजगार मिलता है। उसके बावजूद भी अतिथि शिक्षकों को निशुल्क अध्यापन में वरीयता देकर अधिकारी क्या बताना चाहते हैं। ज्यादातर अतिथि शिक्षक परिवार वाले हैं। क्या अपने बच्चों को जहर दे दें।
कटनी कलेक्टर और जिला शिक्षा अधिकारी एक एक माह का वेतन मुख्यमंत्री राहत कोष में जमा कर दें। क्या मंत्री, विधायक और अधिकारी एक माह भी निशुल्क सेवा दे सकते हैं ? यदि हां तो अतिथि शिक्षक पूरे सत्र में निशुल्क अध्यापन करवा देंगे। यदि शीघ्र आदेश को निरस्त नहीं किया गया तो सभी जिला मुख्यालयों पर अनिश्चित कालीन धरना प्रदर्शन करेंगे।