इंदौर। प्रदेश के बैचलर ऑफ इंजीनियरिंग (बीइ) कॉलेजों में प्रवेश के लिए डायरेक्टोरेट ऑफ टेक्निकल एजुकेशन (डीटीइ) ने सोमवार को दूसरे चरण की काउंसिलिंग से प्रवेश लेने वाले विद्यार्थियों की अलॉटमेंट लिस्ट जारी कर दी है। पहली काउंसिलिंग के अलाॅटमेंट के मुकाबले दूसरे चरण की लिस्ट में कटऑफ में काफी अंतर देखने को मिल रहा है।
IIT-DAVVआईटी ब्रांच का कटऑफ 42000 रैंक पर बंद हुआ
देवी अहिल्या यूनिवर्सिटी के इंस्टीट्यूट ऑफ इंजीनियरिंग एंड टेक्नोलॉजी (आइइटी) में इंर्फोमेशन टेक्नोलाॅजी (आइटी) ब्रांच में प्रवेश 42 हजार रैंक पर बंद हुआ है। वहीं पहले चरण में क्लोजिंग रैंक 41 हजार थी। संस्थान की मैकेनिकल ब्रांच की रैंक में काफी अंतर आया है। इस ब्रांच में आखिरी प्रवेश 65 हजार रैंक पर हुआ है जबकि पहले चरण में 74 हजार रैंक पर प्रवेश बंद हुए थे।
SGSITS में 70, IIT में 153 सीटें खाली रह गईं
प्रदेश के सबसे बड़े इंजीनियरिंग संस्थान SGSITS में पहले चरण की काउंसिलिंग में 70 सीट खाली रह गई थी। संस्थान के पास सभी ब्रांच में 720 सीट है। इसमें से 650 सीट पर ही प्रवेश हो पाया है। कई विद्यार्थी प्रवेश के लिए नहीं पहुंचे इसलिए सीट खाली रह गई। IIT की कुल 540 सीट में से 387 ही पहली काउंसिलिंग में भर पाई थी। टॉप संस्थानों में पहले चरण में सीट खाली रह जाने के पीछे कारण बताया जा रहा है कि विद्यार्थी आइआइटी और एनआइटी की काउंसिलिंग में भी आवेदन करते हैं। वहां प्रवेश मिल जाता है तो सीट खाली रह जाती है।
एसजीएसआइटीएस के काउंसिलिंग प्रभारी भूपेंद्र सिंह मोरे का कहना है कि दूसरे चरण में भी कुछ सीट खाली रह जाने का अंदेशा है। कॉलेज लेवल काउंसिलिंग राउंड में भी कुछ सीट रह सकती है। आइइटी के प्रशासनिक अधिकारी परेश आत्रे का कहना है कि कोरोना महामारी के कारण इस बार प्रवेश लेते समय विद्यार्थी और माता-पिता के मन में कई तरह के सवाल है। इस बार बाहर के प्रदेशों के कॉलेजों में प्रवेश ले या स्थानीय इसे लेकर काफी विचार-विमर्श कर रहे हैं।