कोरोनावायरस के बाद अब देश में कोरोना वैक्सीन की चर्चा है। एक बार फिर सोशल मीडिया पर कई विशेषज्ञ अपने-अपने ज्ञान के अनुसार अपने तरीके से लोगों को जानकारियां दे रहे हैं और अपनी जानकारी को सबसे प्रमाणित व विश्वसनीय बता रहे हैं। लोगों में जिज्ञासा है बनी हुई है और वह अपने सवालों के जवाब प्राप्त करने के लिए फेसबुक और व्हाट्सएप पर काफी समय खर्च कर रहे हैं। हमने विशेषज्ञों से चर्चा करके ऐसे ही कुछ सवालों के जवाब तलाश किए हैं। यहां पढ़िए:-
भारत में कोरोना वैक्सीन कैसे बंटेगी
कोरोनावायरस इन के साथ एक खास बात यह है कि उसके स्टोरीज का काफी ख्याल रखना पड़ता है। कई तरह की वैक्सीन बनी है परंतु सभी के लिए एक तापमान निर्धारित है। यदि वैक्सीन को उस तापमान से बाहर निकाला गया तो उसका तत्काल उपयोग करना होगा नहीं तो वह खराब हो जाएगी। इसलिए भारत में कोरोना वैक्सीन शिविर लगाकर आम जनता तक पहुंचाई जाएगी। ठीक वैसे ही जैसे आप वोट डालने जाते हैं, इस बार आपको कोरोना का टीका लगवाने जाना होगा।
कोरोना वैक्सीन से रिएक्शन तो नहीं होगा
कोरोना वैक्सीन के लगभग सभी संभव टेस्ट कर लिए गए हैं परंतु फिर भी 100% नहीं कहा जा सकता कि सभी नागरिकों के लिए यह एक समान काम करेगा। जिस प्रकार दूसरे टीकाकरण अभियान होते हैं, और कई बार कुछ वैक्सीन रिएक्शन कर जाती है ठीक है ऐसा ही कोरोना वैक्सीन इन के मामले में भी है। केंद्र सरकार ने राज्य सरकारों से इस बारे में पहले से तैयारी करने के लिए कहा है। जिस स्थान पर वैक्सीनेशन होगा वहां पर किसी भी प्रकार के दुष्प्रभाव से निपटने के लिए पर्याप्त मेडिकल स्टाफ और उपकरण उपलब्ध होंगे।
कोरोनावायरस की वैक्सीन कहां स्टोर की जाती है
कोरोनावायरस की वैक्सीन को जिस डीप फ्रीजर में रखते हैं उसे आइस लाइन्ड रेफ्रीजरेटर कहते हैं। हर 30 मिनट पर इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस इसके तापमान को जांचती है। भारत में राज्यों के पास वैक्सीन स्टोर करने के लिए करीब 2300 आइस लाइन्ड रेफ्रीजरेटर पहले से मौजूद हैं। इसका अर्थ ये हुआ कि भारत में वैक्सीन को स्टोर करने की कोई समस्या नहीं है।
कोरोना का टीका सबसे पहले किसे लगेगा
इस मामले में फाइनल डिसीजन नहीं हुआ है परंतु वर्ल्ड हेल्थ ऑर्गेनाइजेशन ने सलाह दी है कि कोरोनावायरस का टीका प्राथमिकता के आधार पर हेल्थ वर्कर्स, फ्रंटलाइन वर्कर्स और सीनियर सिटिजंस को लगाया जाए।
कोरोना वैक्सीनेशन के लिए अपॉइंटमेंट कैसे लें
फिलहाल सरकार ने ऑनलाइन या ऑफलाइन अपॉइंटमेंट के लिए कोई वेबसाइट है प्रिया एप्लीकेशन लॉन्च नहीं की है लेकिन एक प्रोसेस डिसाइड कर लिया गया है। पहले चरण में वैक्सीन जिन्हें लगेगी उन्हें SMS के जरिए टीकाकरण की तारीख, समय और जगह बताई जाएगी। मैसेज में टीका देने वाले संस्थान और हेल्थर वर्कर का नाम भी होगा।
कोरोना वायरस की वैक्सीन खुले बाजार में कब तक आ जाएगी
माना जा रहा है कि शुरुआत में सरकार टीकाकरण के एक-एक कदम पर पूरा नियंत्रण रखेगी, एक अनुमान के अनुसार लगभग 6 महीने टीकाकरण और उससे होने वाले रिएक्शन को स्टडी किया जाएगा और जब एक संतोषजनक स्थिति बन जाएगी तो इसे खुले बाजार के लिए स्वतंत्र कर दिया जाएगा। वैक्सीन को रखने के लिए कोल्ड स्टोरेज की जरूरत है। जिन राज्यों में स्टोरेज के पर्याप्त प्रबंध नहीं है, उनकी सरकारें किसी ना किसी बहाने से देरी करती रहेंगी।
क्या कोरोना वायरस का टीका (वैक्सीन) लगवाने के बाद संक्रमण नहीं होगा
वैक्सीन का इंतजार पूरी दुनिया में किया जा रहा है और वैक्सीन इसीलिए बनाए जाते हैं ताकि संबंधित व्यक्ति को बीमारी से बचाया जा सके, लेकिन कोरोनावायरस से संबंधित जितने भी वैक्सीन आ रहे हैं उन सबके क्लिनिकल ट्रायल सफल हो गए हैं परंतु फिर भी आम मनुष्यों पर इसका असर कितने प्रतिशत तक प्रभावी होगा, यह तो समय ही बताएगा। इसलिए फिलहाल गारंटी के साथ नहीं कहा जा सकता कि टीका लगवाने से कोरोनावायरस का संक्रमण नहीं होगा। सावधानी का दूसरा नाम फेस मास्क तब भी जरूरी होगा।