आईआईएम अहमदाबाद ने ऑनलाइन टेस्ट में होने वाली नकल को रोकने के लिए एक नया सॉफ्टवेयर तैनात कर दिया है। यह सॉफ्टवेयर सभी स्टूडेंट्स के कंप्यूटर, लैपटॉप और मोबाइल में इंस्टॉल किया गया है। यह सॉफ्टवेयर ऑनलाइन टेस्ट के समय ड्यूटी पर तैनात हो जाएगा और सुनिश्चित करेगा कि परीक्षा देने वाले स्टूडेंट इंटरनेट पर कोई दूसरा काम ना कर पाए। इसके अलावा एक कैमरा नजर रखेगा की स्टूडेंट टेस्ट दे रहा है या इसके अलावा कुछ और भी कर रहा है।
घर बैठे ऑनलाइन टेस्ट के समय स्टूडेंट कोई भी फाइल एक्सेस नहीं कर पाएंगे
पर अंकुश लगाने का हाईटेक डिजिटल तरीका निकाला निकाला है। भारतीय प्रबंधन संस्थान (IIM) अहमदाबाद में ऑनलाइन क्लास और एग्जाम के स्तर पर एक यूनिक व्यवस्था की गई है। अब ऑनलाइन क्लास के दौरान स्टूडेंट फैकल्टी के साथ संवाद- संपर्क कर सकते हैं लेकिन ऑनलाइन टेस्ट में खुद के लैपटॉप अथवा मोबाइल सहित अन्य किसी गैजेट में भी अन्य कोई फाइल एक्सिस नहीं कर सकेंगे।
स्टूडेंट के लैपटॉप का कैमरा ही स्टूडेंट की चुगली करता है
अब इस नई व्यवस्था और बंदिश को संस्थान ने लागू कर दिया है। स्टूडेंट जिस लैपटॉप या गैजेट का चयन करता है उससे संबंधित गैजेट में एक सॉफ्टवेयर इंस्टॉल किया जाता है। इस सॉफ्टवेयर की वजह से ऑनलाइन परीक्षा के दौरान विद्यार्थियों पर विशेष ध्यान रखा जा सकता है। इस सॉफ्टवेयर की मदद से लैपटॉप के कैमरे और उसके सामने बैठे विद्यार्थी की मूवमेंट पर भी नजर रखी जा सकती है।
दूसरे शब्दों में कहें तो ऑनलाइन एग्जाम में डिजिटल स्वरूप में नकल सहित अन्य अनियमितताएं होने की संभावना को इस सॉफ्टवेयर की मदद से बहुत हद तक काबू किया जा सकता है। उम्मीद जताई जा रही है कि अहमदाबाद की इस व्यवस्था से अन्य संस्थान भी प्रेरणा लेंगे और इसे लागू करेंगे।