ग्वालियर। मध्य प्रदेश के सहकारिता मंत्री अरविंद सिंह भदौरिया का भतीजा पुलिस को मिल गया है। पुलिस ने उसे मुरैना के धनेला गांव से बरामद किया है। लापता होने के बाद उसने 24 घंटे में दिल्ली से 2 लाख रुपए की शॉपिंग की है। जिसमें सवा लाख रुपए का एप्पल का मोबाइल, 17 हजार के ब्रांडेड जूते शामिल हैं।
शताब्दीपुरम से भागने के बाद वह मुरैना के पहाड़ी गांव पहुंचा। यहां छैनी हथौड़े से तिजोरी तोड़ी और फिर वीडियो कोच बस में सवार होकर दिल्ली पहुंच गया। वहां से शनिवार रात को इनोवा से दोस्तों के साथ ग्वालियर लौटा। रविवार सुबह 4 बजे पुलिस उन तक पहुंच गई है। तिजोरी के सारे जेवरात संदेही धीरज के पिता के पास मिले हैं। फिलहाल पुलिस पूरे मामले में पूछताछ कर रही है।
यह है पूरा माजरा
महाराजपुरा के शताब्दीपुरम में टाइल्स कारोबारी देवेन्द्र भदौरिया का इकलौता बेटा 17 वर्षीय गौरव भदौरिया शुक्रवार शाम 5 बजे अचानक लापता हो गया था। उसके लापता होने के बाद पता लगा कि वह गायब होने से पहले घर की अलमारी में रखी लोहे की तिजोरी भी उठा ले गया है। जिसमें 8 लाख रुपए नकद, सोने और डायमंड के लाखों रुपए के जेवरात रखे थे। कारोबारी देवेन्द्र भदौरिया ने खुद को सहकारिता मंत्री अरविंद भदौरिया का भाई बताते हुए महारजपुरा थाना में शिकायत की थी। साथ ही धीरेन्द्र गुर्जर, रोहित, नीरज, विवेक गुर्जर, रनिया तोमर व सतीश पाल पर अपहरण का संदेह जताया था। इसमें से ज्यादातर संदेही घरों से गायब मिले थे। धीरेन्द्र का तो पूरा परिवार ही गायब था। यह हाई प्रोफाइल मामला पुलिस के गले की हड़डी बना हुआ था। पुलिस को सबसे बड़ी टेंशन छात्र के हाथ में 22 से 25 लाख रुपए का माल होने पर उसकी जान को खतरे का था।
कारोबारी के बेटे की तलाश में पुलिस जुटी हुई थी। रविवार सुबह 4 बजे वह मुरैना के धनेला गांव में धीरेन्द्र के मामा के घर मिला है। छात्र को बरामद किया गया है। उसके साथ धीरेन्द्र गुर्जर, धीरेन्द्र का भाई रविन्द्र और दोस्त पोचू मिला है। पुलिस ने यहां से 6 लाख रुपए कैश बरामद कर लिया है। साथ ही तिजोरी और उसमें रखे 20 से 25 लाख रुपए के जेवरात उन्होंने धीरेन्द्र के पिता रामेश्वर से मुरैना के पहाड़ी गांव में बरामद किए हैं।
छात्र ने कब-कब क्या किया
शुक्रवार शाम घर से तिजोरी लेकर निकले छात्र को कुछ ही दूरी पर धीरेन्द्र मिल गया। यहां से एक स्विफ्ट कार में सवार होकर वह मुरैना पहाड़ी गांव पहुंचे। यहां पीछे से रविन्द्र और पोचू छैनी हथौड़ा लेकर पहुंच गए। इसके बाद तिजोरी तोड़ी। तिजोरी के सारे जेवरात धीरेन्द्र के पिता को रखने के लिए दे दिए। कैश लेकर यह मुरैना से वीडियो कोच बस में सवार हुए और दिल्ली पहुंचे। वहां एक इनोवा कार हायर की। इसके बाद दिल्ली में घूमे, फिरे फाइव स्टार होटल में खाना खाया।
एप्पल का मोबाइल 1.30 लाख में खरीदा
दिल्ली से छात्र ने 1.30 लाख रुपए का एप्पल का मोबाइल, 17 हजार के जूते, ब्रांडेड कपड़े खरीदे। दोस्तों को भी कपड़े दिलाए। दिल्ली में खरीदारी करने के बाद इन लोगों ने ग्वालियर के लिए 12 हजार रुपए में इनोवा कार बुक की। होटल लैंडमार्क के पास एक गेस्ट हाउस में पहुंचे। तब तक धनेला गांव में पूरे परिवार पर पुलिस फंदा कस चुकी थी। धीरेन्द्र के मामा ने उसे वहां बुलाया। जैसे ही धीरेन्द्र और छात्र वहां पहुंचे पुलिस ने उन्हें निगरानी में ले लिया। सीएसपी रवि भदौरिया ने बताया कि पूरा पैसा व जेवरात और लापता छात्र बरामद कर लिया है। छात्र से पूछताछ की जा रही है।