ग्वालियर। राजनीति में कुछ भी हो सकता है और राजनेता कुछ भी कर सकते हैं। मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान ने दिनांक 7 फरवरी 2021 को एक ऐसे मेले (ग्वालियर व्यापार मेला) का उद्घाटन कर दिया, जो लगा ही नहीं था। सीएम ने मंच से कहा था कि 15 फरवरी से ग्वालियर मेला आम जनता के लिए खोल दिया जाएगा लेकिन 23 फरवरी 2021 को मेला ग्राउंड पर कुछ भी नहीं है।
ज्योतिरादित्य सिंधिया 27 फरवरी को करेंगे GWALIOR MELA का उद्घाटन
सरकारी दस्तावेजों में इसे ग्वालियर मेले के सांस्कृतिक कार्यक्रमों का शुभारंभ कहा जाएगा परंतु जन चर्चा और लोकल मीडिया में ग्वालियर मेले का शुभारंभ 27 फरवरी 2021 को ज्योतिरादित्य सिंधिया द्वारा किया जाएगा। मेला प्राधिकरण को टारगेट मिल चुका है। वह तेजी से काम कर रहा है लेकिन समस्या यह है कि जितनी तेजी से काम चल रहा है उसके हिसाब से 27 फरवरी को भी मेले का शुभारंभ संभव नजर नहीं आता।
शिल्प बाजार का ढांचा तक नहीं बना, प्रदर्शनी 12 सेक्टर खाली पड़ा है
मेला के प्रदर्शनी सेक्टर में अभी तक पूरी तरह सन्नाटा पसरा है। यहां आयोजित होने वाले शिल्पबाजार के लिए तो अभी तक ढांचा भी तैयार नहीं हुआ है ऐसे में यहां दुकानें कब बनेगी कहना मुश्किल है। मेला का प्रमुख आकर्षण रहने वाली प्रदर्शनियां भी अभी बनना शुरू नहीं हुई हैं।
ग्वालियर में फिलहाल व्यापार मेला नहीं बल्कि झूला मेला लगा है
रविवार को मेला में मस्ती करने के लिए काफी तादाद में सैलानी पहुंचे, लेकिन खाली मेला देखकर उन्हें निराशा हुई, लेकिन झूला सेक्टर में रौनक थी, जहां सैलानियों ने झूलों का आनंद लेने के साथ लजीज व्यंजनों का स्वाद भी लिया। मेला के दूसरे सेक्टरों में इक्का दुक्का दुकानें अभी तैयार हुई हैं और फुटपाथी भी नजर आ रहे हैं।
मेला व्यापार संघ से प्रेस नोट जारी करवाया गया
मेला व्यापारी संघ ने प्रेस को जारी बयान में कहा है कि ग्वालियर मेला सांसद ज्योतिरादित्य सिंधिया के अथक प्रयासों से आयोजित हो रहा है। सिंधिया की पहल पर ही मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने दो माह की अवधि तक मेला आयोजन की घोषणा की, इसलिए मेला की तैयारी पूर्ण होने के बाद ज्योतिरादित्य सिंधिया से मेला का उद्घाटन कराना चाहिए। मांग करने वालों में महेंद्र भदकारिया, महेश मुद्गल, उमेश उप्पल, सुरेश गौड, महेंद्र सैंगर, कल्ली पंडित आदि लोग शामिल हैं।
GWALIOR में सीएम से बड़ा है सिंधिया का कद
ग्वालियर की जनता को इस बात से कोई फर्क नहीं पड़ता कि मेले का उद्घाटन किसने किया लेकिन ग्वालियर में ज्योतिरादित्य सिंधिया के दरबार के सरदारों को काफी फर्क पड़ता है। यह इत्तेफाक नहीं है। मुख्यमंत्री की घोषणा के अनुसार मेला 15 फरवरी को खोला जा सकता था परंतु जनता के बीच यह प्रमाणित करना जरूरी है कि ज्योतिरादित्य सिंधिया केवल भारतीय जनता पार्टी के सांसद नहीं है बल्कि ग्वालियर के महाराज हैं और सिंधिया ही सरकार हैं। इसलिए मेले का दोबारा उद्घाटन कराया जा रहा है।