भोपाल। मध्य प्रदेश राज्य प्रशासनिक सेवा के अधिकारी एवं मुरैना जिले में
एडीएम उमेश प्रकाश शुक्ला का एक वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया है। इस
वीडियो में एडीएम शुक्ला उचित मूल्य की दुकान से राशन की मांग करने आए 2 सरपंचों
को धमकाते हुए दिखाई दे रहे हैं। सरपंच अपनी बात प्रमाणित करने के लिए पीड़ित
ग्रामीणों को साथ लाए थे। एडीएम ने सबके सामने दोनों सरपंचों को जलील किया।
एडीएम उमेश प्रकाश शुक्ला के आपत्तिजनक वाक्य
जनता क्या होती है।
नाम नोट करो इनका, अभी सरपंची निकालता हूं।
और कौन नेतागिरी कर रहा है।
तुम्हारा शरीर बता रहा है तुम गरीब नहीं हो।
सब चुनाव गरीबों की दम पर जीतना है तुम्हें।
जनता के साथ आए, इनका भी नाम लोड कर लो।
मामला क्या है
मामला शासकीय उचित मूल्य की दुकानों से गरीबों को वितरण होने वाले राशन का है।
जिसकी कालाबाजारी हो रही है। ग्रामीणों को राशन वितरण नहीं किया जा रहा है। इसी
समस्या के समाधान के लिए कट्टोली पंचायत के सरपंच लियाकत अली और बालेरा पंचायत के
सरपंच लज्जाराम सिंह कट्टोली मंगलवार को कलेक्टर कार्यालय में होने वाली जनसुनवाई
में आए थे। दोनों सरपंचों के साथ लगभग 50 ग्रामीण भी आए थे।
एडीएम उमेश प्रकाश शुक्ला ने क्या किया
एडीएम शुक्ला ने उचित मूल्य की दुकानों से राशन के वितरण की कालाबाजारी के मामले
को दबाने की कोशिश की। उन्होंने ग्रामीणों के साथ आए दोनों सरपंचों को धमकाया
ताकि कोई शिकायत ना करें। कलेक्टर से शिकायत करने आए दोनों सरपंचों को कलेक्टर से
मिलने नहीं दिया गया। यहां तक की जनसुनवाई वाले हॉल में जाने तक नहीं दिया गया।
उमेश प्रकाश शुक्ला ने उन्हें बाहर ही रोक लिया और पद का दुरुपयोग करते हुए
कार्रवाई की धमकी देकर भगा दिया।
मुरैना में वीडियो वायरल हो गया कलेक्टर को पता ही नहीं
मजेदार बात यह है कि पूरे मुरैना में सोशल मीडिया पर यह वीडियो वायरल हो गया
परंतु जब नई दुनिया के पत्रकार ने कलेक्टर से इस बारे में प्रतिक्रिया मांगी तो
बक्की कार्तिकेयन, कलेक्टर, मुरैना ने कहा कि इस तरह कोई भी अधिकारी किसी भी आमजन
या जनप्रतिनिधि से बात नहीं कर सकता। शिकायत तो कोई भी लेकर आ सकता है, अफसर का
काम उसकी जांच कराकर सही निर्णय करना है। अगर ऐसा हुआ है तो मैं इसकी जांच करवाता
हूं। आप मेरे पास वह वीडिया भेज दीजिए जो वायरल हो रहा है, उसके आधार पर कार्रवाई
होगी।