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जहांगीराबाद में रहने वाला 26 साल का विनोद वर्मा एसी मैकेनिक था। उसके पिता नहीं है। विनोद की मां और बड़े भाई-बहन इंदौर में रहते हैं। वह यहां दो मंजिला मकान में अकेला ही रहता था। पड़ोस में रहने वाले उसके चाचा ने बताया कि बुधवार दोपहर विनोद को देखा था। इसके बाद रात दस बजे तक वह नजर आया। चचेरे भाई उसके घर पहुंचे तो नीचे कमरों में वह कहीं नहीं था। पहली मंजिल पर एक कमरे में वह फंदे पर लटका मिला।
विनोद के ताऊ के बेटे अमित ने पुलिस को घटना की सूचना दी। लोगों ने पुलिस को बताया कि विनोद शाम 6 बजे तक देखा गया। उसके बाद वह नजर नहीं आया। वह यहां पर अकेला ही रहता था। लॉकडाउन के पहले वह एसी रिपेयरिंग का काम करता था। लॉक डाउन लगने के बाद से ही उसका काम छूटा हुआ था। वह घर पर रहता था। बहुत कम ही घर से बाहर आता था।
सुसाइड नोट में यह लिखा
टीआई जहांगीराबाद वीरेंद्र सिंह ने बताया कि विनोद के पास से 8 पन्ने का एक सुसाइड नोट मिला है। वह लिखता है कि इंदौर में रहने वाली लड़की से वह बहुत प्यार करता है। उसकी उससे फोन पर बातचीत हुई शुरू हुई थी। उसके बाद उनके बीच अच्छी दोस्ती हो गई। हम एक दोनों को प्यार करने लगे, लेकिन अब वह मना कर रही है। उसने मुझे प्यार में देखा दिया है। मैं उसके बिना जी नहीं सकता हूं। मैं प्यार में नाकाम हो गया हूं, इसलिए जान दे रहा हूं।
टीआई ने बताया कि उसने सुसाइड नोट में परिजनों का जिक्र नहीं किया है। उसके सुसाइड नोट को पढ़कर अंदाजा लगाया जा सकता है कि वह कई दिनों से मानसिक तनाव में था। हालांकि इसके पीछे कई कारण हो सकते हैं। परिजनों से और सुसाइड नोट के आधार पर लड़की से पूछताछ की जाएगी। उसके बाद ही सुसाइड के कारणों का पता चल सकेगा।