भोपाल। प्रदेश के शिक्षकों का रचनात्मक मैत्री समूह, शिक्षक संदर्भ समूह, की पहल 1 मई से 5 जून तक आगे भी सतत जारी रहेगी। सभी अपने अपने घर में रहते हुए प्रतिदिन इस सूची अनुसार काम करें।
योग, बागवानी और हवन से स्वयं का रक्षाकवच
योग-प्राणायाम-ध्यान के साथ सभी जीवों के लिए स्वस्ति कामना।
घर में उपलब्ध संसाधनों से बागवानी (पौधारोपण) के साथ धूप से विटामिन डी का सेवन, पशु- पक्षियों हेतु सेवाकार्य।
घर में शुद्धि हेतु प्राकृतिक जड़ी-बूटी मिश्रित हवन सामग्री, कपूर, लौग, गंधक- लोबान, घी- नैवेध (गुड़) आदि (जो भी सामग्री आसनी से उपलब्ध हो) का प्रयोग कर उपले, समिधा या तॉबे के बर्तन को गैस आदि पर गर्म कर हवन सामग्री को प्रज्वलित कर धूप से पूरे घर के वातावरण को शुद्ध करना।
घर में उपलब्ध सत् साहित्य का अध्ययन करना।
पॉजिटिव कामों से कोरोना को निगेटिव करने का अभियान
अपने परिचतों, पडोसियों ,मित्रो आदि से मोबाइल पर संपर्क कर सकारात्मक संबल स्थापित करनाद्य सीमित संसाधनों के बचाव हेतु संवाद एवं कार्य।
नीम -नीबू,गिलोई आदि की सूखी पत्तियों को जलाकर शुद्धिकरण करना, अपनी सुविधानुसार उपलब्ध सामग्री अनुसार।
रात में जलाई जा रही बैषेली मच्छर अगरबत्तियों पर प्रतिबंध करना, एसी, फ्रिज, पेट्रोल-डीजल संसाधनों का संयमित उपयोग।
नकारात्मक खबरें से दूर रहना। सकारात्मक रहना और फैलाना।
शाम को घर मे घी या कपूर का दीपक जलाकर उसको पूरे घर में घुमाना।
अजवाइन, लौंग,कपूर, गंधक-लोबान की धूनी आदि अपनी सुविधा अनुसार करना।
शंख ध्वनि करना। शासन द्वारा दिये गए निर्देशों - मास्क, दो गज दूरी, घर पर रहना- बिना का काम के बाहर ना निकलना, बारी आने पर वैंकसीनेशन कराना आदि का पालन करना।
लोकसंत आचार्य श्री विधासागर की प्रेरणा से एवं अखिल विश्व गायत्री परिवार के अभियान गृहे-गृहे गायत्री यज्ञ की प्रेरणा से, शिक्षक संदर्भ समूह के समन्वयक डॉ दामोदर जैन, राज्य शिक्षा केन्द्र, भोपाल, 9893710507 के मार्गदर्शन में।