भोपाल। मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल में बिजली कंपनी के लिए काम करने वाले 1000 आउटसोर्स कर्मचारियों को आधा जनवरी बीत जाने के बावजूद वेतन नहीं मिला। कर्मचारियों के घर में राशन का बजट गड़बड़ा गया है। वह लोग उपभोक्ताओं को अपनी परेशानी बता रहे हैं। उपभोक्ताओं द्वारा उनकी आर्थिक मदद की जा रही है।
बताया गया है कि भोपाल शहर में करीब 1000 आउटसोर्स कर्मचारियों का दिसंबर महीने का वेतन दिनांक 11 जनवरी 2022 तक नहीं दिया गया। बिजली कंपनी द्वारा आउटसोर्स कंपनी के खिलाफ कोई कदम नहीं उठाया जा रहा है। भोपाल और ग्वालियर डिवीजन के 10 हजार कर्मचारियों को बोनस की तीसरी किश्त नहीं मिली है। वहीं, PF की राशि भी जमा नहीं करवाई जा रही है। पीएफ के 5 महीने से करीब 13 करोड़ रुपए जमा नहीं हुए हैं।
बिजली कंपनी सिर्फ काम लेती है, अधिकारों की रक्षा कोई नहीं करता
आश्चर्यजनक बात यह है कि बिजली कंपनी, मानव संसाधन उपलब्ध कराने वाली कंपनियों को ठेका देती है। उनके द्वारा नियुक्त किए गए आउटसोर्स कर्मचारियों से काम लेती है परंतु कर्मचारियों के अधिकारों और हितों की रक्षा नहीं करती। मध्यप्रदेश में श्रम विभाग की हालत सबसे खराब है। उसके पास कार्रवाई करने के लिए कर्मचारी ही नहीं है। श्रम विभाग में शिकायत करना सबसे मुश्किल काम है। शिकायत कर भी दो तो कोई कार्यवाही नहीं होती।भोपाल की महत्वपूर्ण खबरों के लिए कृपया bhopal news पर क्लिक करें.