भोपाल। मध्य प्रदेश शासन के उच्च शिक्षा विभाग मंत्रालय द्वारा गाइडलाइन जारी करके बताया गया है कि यदि किसी सरकारी कॉलेज में प्रिंसिपल नहीं है अथवा प्रिंसिपल लंबी छुट्टी पर है तो किस प्रोफ़ेसर को प्रिंसिपल के पद का चार्ज दिया जाएगा।
उच्च शिक्षा विभाग ने क्रमांक 268/327/2022/38/1 द्वारा जारी गाइडलाइन में परिवर्तन करते हुए आदेश क्रमांक 269/327/2022/38/1 दिनांक 15 फरवरी 2022 को जारी किया गया है। नवीन गाइडलाइन के अनुसार कॉलेजों में प्रिंसिपल का पद रिक्त होने पर अथवा प्राचार्य के लंबे अवकाश पर चले जाने पर उसी कॉलेज के सबसे सीनियर प्रोफेसर/ असिस्टेंट प्रोफेसर को प्राचार्य पद का प्रभार क्षेत्रीय अतिरिक्त संचालक द्वारा दिया जाएगा।
आदेश में बताया गया है कि यदि किसी कॉलेज में प्राध्यापक/ सहायक प्राध्यापक उपलब्ध नहीं होते हैं तो जिले के अंदर नजदीक वाले कॉलेज के सीनियर प्रोफेसर/ असिस्टेंट प्रोफेसर को इंचार्ज प्रिंसिपल नियुक्त किया जाएगा।
यदि उपरोक्त दोनों निर्देशों का पालन करना संभव ना हो तो अतिरिक्त संचालक द्वारा प्रस्ताव बनाकर आयुक्त उच्च शिक्षा को अनुमोदन हेतु प्रस्तुत किया जाएगा। यानी कि कमिश्नर हायर एजुकेशन के अप्रूवल के बाद ही किसी को इंचार्ज प्रिंसिपल बनाया जा सकता है। इसके अलावा मध्यप्रदेश शासन द्वारा किसी भी समय और किसी भी कॉलेज में प्राचार्य की पदस्थापना की जा सकती है अथवा प्राचार्य पद का प्रभार दिया जा सकता है। मध्यप्रदेश कर्मचारियों से संबंधित महत्वपूर्ण खबरों के लिए कृपया MP karmchari news पर क्लिक करें.