नरसिंहपुर। मध्यप्रदेश में यह लगातार दूसरी बार हुआ है जब रिश्वतखोरी में पकड़े गए किसी कर्मचारी को जमानत नहीं दी गई बल्कि जेल भेज दिया गया। शिक्षा विभाग जिला शिक्षा केंद्र के विकासखंड स्त्रोत समन्वयक हरिओम पाठक को EOW ने रिश्वत लेते हुए पकड़ा था। स्पेशल कोर्ट ने उन्हें न्यायिक हिरासत में भेज दिया है।
स्कूल की मान्यता के लिए रिश्वत मांगने का आरोप
गिरफ्तार हुए शिक्षा विभाग के कर्मचारी हरिओम पाठक पर आरोप है कि उन्होंने शिकायतकर्ता मोहम्मद हुसैन जो अटल अंजुमन स्कूल का संचालन करता है, से मान्यता के लिए ₹25000 रिश्वत की मांग की थी। ₹10000 रिश्वत के प्राप्त कर चुके थे। ₹15000 दूसरी किस्त प्राप्त कर रहे थे। SP EOW देवेंद्र सिंह राजपूत का कहना है कि मोहम्मद हुसैन ने शिकायत की थी जिसके आधार पर कार्रवाई की गई।
लोकायुक्त पुलिस और EOW की कार्रवाई में अंतर
मध्य प्रदेश में लोकायुक्त पुलिस और आर्थिक अपराध प्रकोष्ठ की कार्यवाही में बड़ा अंतर है। लोकायुक्त पुलिस यदि किसी शासकीय कर्मचारी को रिश्वत लेते हुए पकड़ती है तो कानूनी कार्रवाई करने के बाद उसे जमानत पर छोड़ दिया जाता है लेकिन EOW द्वारा न्यायालय में पेश किया जाता है। विशेष न्यायालय ने भ्रष्टाचार के खिलाफ कड़ा रुख अपनाते हुए आरोपी अधिकारी को न्यायिक हिरासत में भेजने के आदेश दिए। मध्यप्रदेश कर्मचारियों से संबंधित महत्वपूर्ण खबरों के लिए कृपया MP karmchari news पर क्लिक करें.