जबलपुर। ग्राम पंचायत सचिव के पद पर कार्यरत श्रीमती मंगला वर्मा का ट्रांसफर दिनाँक 06/09/21 को कार्यालय जनपद पंचायत, फंदा से ग्राम पंचायत खजूरी सड़क किया गया था। ट्रांसफर आदेश के पालन में उनके द्वारा, ग्राम पंचायत खजूरी सड़क में उपस्थिति दे दी गई थी। उसके बाद मिथ्या शिकायत के आधार पर श्रीमती वर्मा को दिनाँक 04/2/2022 को जनपद पंचायत फंदा में संलग्न कर दिया गया था एवम उनकी पंचायत का अतिरिक्त प्रभार किसी अन्य सचिव को दे दिया गया था।
तत्पश्चात, दिनाँक 21/2/22, अचानक श्रीमती मंगला वर्मा का ट्रांसफर ग्राम पंचायत, खजूरी सड़क से ग्राम पंचायत परवलिया सड़क कर दिया गया था। पीड़ित होकर, श्रीमति वर्मा द्वारा उच्च न्यायालय जबलपुर की शरण ली गई थी। याचिकाकर्ता के वकील श्री अमित चतुर्वेदी, द्वारा कोर्ट को बताया गया कि वस्तुतः श्रीमति वर्मा को लगातार ट्रांसफर किया जा रहा है। संलग्नीकरण/अटैचमेंट भी एक प्रकार का ट्रांसफर है जो कि सामान्य प्रशासन द्वारा प्रतिबंधित है। पहले ट्रांसफर के बाद, मिथ्या शिकायत के आधार पर, बिना सुनवाई के उन्हें दूसरे स्थान पर, सलग्न किया गया एवं 15 दिन बाद दूसरी ग्राम पंचायत में ट्रांसफर कर दिया गया।
उपरोक्त ट्रांसफर द्वेषपूर्ण एवं निरंतर ट्रान्सफर की श्रेणी में आता है। कोर्ट ने अधिवक्ता अमित चतुर्वेदी से सहमत होते हुए, मुख्य कार्यपालन अधिकारी जिला पंचायत को प्रकरण के निराकरण के आदेश दिए हैं। निराकरण की अवधि में, ट्रांसफर स्टे रहेगा एवं श्रीमती मंगला वर्मा ग्राम पंचायत खजूरी सड़क में कार्य करेंगी। कर्मचारियों से संबंधित महत्वपूर्ण खबरों के लिए कृपया MP karmchari news पर क्लिक करें.