आंवला के पेड़ लगाने से भगवान क्यों प्रसन्न होते हैं, यहां पढ़िए - Why God is pleased by planting Amla trees

Bhopal Samachar
बृहस्पति भगवान की कथा में उल्लेख है कि आम और आंवला के वृक्ष लगाने, यज्ञ करने, धर्मशाला बनाने, निशुल्क जल वितरण करने और निर्धन कन्याओं का विवाह कराने से भगवान विष्णु प्रसन्न होते हैं। उनकी प्रसन्नता से माता लक्ष्मी की कृपा प्राप्त होती है और धनधान्य के भंडार भर जाते हैं। आइए समझते हैं कि आंवला के पेड़ में ऐसा क्या है, जो उसको लगाने से भगवान प्रसन्न हो जाते हैं। 

आंवला पेड़ का महत्व- importance of Amla tree

पशुओं में गाय और वनस्पति में आंवला को समान रूप से पूज्य माना गया है। जिस प्रकार गाय हर प्रकार से मनुष्य के जीवन के लिए उपयोगी है उसी प्रकार आंवला का पेड़ हर प्रकार से मनुष्यों के लिए अत्यंत उपयोगी है। आंवला नवमी के अवसर पर आंवला के पेड़ की पूजा की जाती है। आंवला एक औषधीय वृक्ष है। आंवले के पेड़ का हर भाग उपयोगी है। आंवले के फल, पत्तियां, तने और छाल का उपयोग दवा बनाने के लिए किया जाता है। 

आंवला का उपयोग- use of amla

आंवले से आचार, आंवले का मुरब्बा, आंवला जैम, आंवला कैंडी, सूखा आंवला, आंवला पाउडर, आंवला का जूस और कई प्रकार से आंवले का उपयोग किया जाता है। एक फल के रूप में आंवले का सेवन किया जा सकता है। इसके कारण आंखों की रोशनी ठीक होती है। अब और पित्त का बैलेंस बनता है। इंद्रिय दुर्बलता, मानसिक दुर्बलता, बाबासीर, हृदय रोग, खांसी, श्वास रोग, महिलाओं के प्रमेह रोगों में यह उपयोगी है। इससे शरीर का चर्म रोग रोग दूर होते हैं। एक हमले में 20 संतरा के बराबर विटामिन सी होता है।

आंवला के पेड़ की पूजा क्यों करते हैं- Why do we worship Amla tree?

कुल मिलाकर आंवला का सेवन करने से मनुष्य बीमार नहीं होते और उन्हें डॉक्टर के पास नहीं जाना पड़ता। निर्धन नागरिकों के लिए भी औषधि उपलब्ध रहे इसलिए आंवला जैसे महत्वपूर्ण औषधीय वृक्ष को पूज्य घोषित किया गया। यानी कि आंवले के वृक्ष की भगवान के रूप में पूजा करना बेकार की पुरानी परंपरा नहीं है बल्कि दूरदर्शिता है। एक पेड़ के माध्यम से हजारों गरीब नागरिकों को स्वास्थ्य लाभ देने का अभियान है। 

आंवले का पौधा कैसे लगाएं- how to plant gooseberry

आंवले के पौधे को बीज के द्वारा और कलम के द्वारा उगाया जा सकता है। आंवले के बीजों को मिट्टी और वर्मी कंपोस्ट के मिश्रण में लगाना चाहिए। इसके लिए छोटे गड्ढे करें। इसके बाद आप आंवले के बीज को लगा दें और इस में नियमित तरीके से पानी डालते रहे। 20 और 25 दिन के बाद, आपको एक छोटा सा पौधा देखने के लिए मिलता है, जो धीरे-धीरे बड़ा होता है। 

कलम के द्वारा आंवले के पौधे 

अगर आप कलम के द्वारा आंवले के पौधे लगाते हैं, तो इसके लिए आपको सही आंवले का चुनाव करना चाहिए, जो स्वस्थ हो और उसके बाद एक डाली तोड़ लीजिए और उसके 7 इंच लंबे डाली के टुकड़े कर दीजिए। उसके बाद कलम के निचले भाग को तिरछा काट दीजिए और उसको जमीन में लगा दीजिए। कलम की सारी पत्तियां तोड़ दीजिए और इसे समय-समय पर पानी देते रहें। कलम के ऊपर पन्नी या कपड़े से ढक दें। कुछ दिनों बाद आपको इसमें पत्तियां आते हुए, देखने के लिए मिलती हैं। ज्योतिष एवं धर्म से संबंधित समाचार और आलेखों के लिए कृपया religious news पर क्लिक करें.

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