Small business ideas- लिस्टिंग करके 1 लाख रुपए महीने कमा सकते हैं

यह एक ऐसा यूनीक बिजनेस आइडिया है जिस की डिमांड भारत के बाजार में शुरू हो चुकी है और सप्लाई बिल्कुल नहीं है। ग्राहक परेशान हो रहे हैं। यदि आप उनकी प्रॉब्लम सॉल्व करते हैं तो आपकी सफलता सुनिश्चित है। सफलता का सिद्धांत भी है, या तो फर्स्ट मूवर बनिए या फिर फास्ट मूवर। यानी कि या तो सबसे पहले बिजनेस शुरू कीजिए या फिर कंपटीशन में सबसे तेज बिजनेस कीजिए। यहां आप फर्स्ट मूवर बनकर लाखों रुपए कमा सकते हैं। 

सबसे पहले समझिए, मार्केट में डिमांड क्या है

किसी भी प्रोडक्ट यह सर्विस की एडवरटाइजिंग का एक नया टूल शुरू हुआ है, नाम है इनफ्लुएंसर मार्केटिंग। बाजार में इसकी डिमांड तेजी से बढ़ रही है। विज्ञापनदाताओं को यह काफी पसंद है क्योंकि एक तरफ यह सस्ता पड़ता है और दूसरी तरफ यह किसी भी दूसरे विज्ञापन की तुलना में लंबे समय तक रिस्पांस दिलाता है। थोड़ा और समझना है, तो अगला पैराग्राफ पढ़िए। 

इनफ्लुएंसर मार्केटिंग क्या होती है

हर शहर में अब कई सारे सोशल मीडिया स्टार एक्टिव हैं। उनके पास हजारों और लाखों फॉलोअर्स हैं। सबकी अपनी स्पेशलिटी है। उदाहरण के लिए मानते हैं कि एक टीचर यूट्यूब पर फ्री क्लास चलाता है। अपनी ऑनलाइन क्लास के दौरान वह बताता है कि कोई एक नई किताब, कोई नया कोर्स लॉन्च हुआ है जो बहुत फायदेमंद है। तो इसे इनफ्लुएंसर मार्केटिंग कहते हैं। क्योंकि वह सब्जेक्ट का स्पेशलिस्ट है, उसके फॉलोअर्स उसकी बात पर विश्वास करते हैं। स्वाभाविक रूप से उसके द्वारा बताए गए प्रोडक्ट को देखना चाहेंगे और खरीदेंगे। 

इनफ्लुएंसर मार्केटिंग का सबसे बड़ा फायदा 

होर्डिंग, बैनर, पोस्टर, टेलीविजन, न्यूज़पेपर यहां तक कि इंटरनेट पर यदि कोई अपना एडवरटाइजिंग कैंपेन चलाता है। तो उसको केवल तब तक रिस्पांस मिलेगा जब तक कि उसका विज्ञापन चल रहा है, यानी पैसा खर्च हो रहा है। विज्ञापन बंद, तो रिस्पांस बंद। इनफ्लुएंसर मार्केटिंग में उसको एक बार पैसा खर्च करना है। बदले में उसे लंबे समय तक रिस्पांस मिलता रहता है। 

इनफ्लुएंसर मार्केटिंग एजेंसी

बाजार में इसकी डिमांड है और बहुत सारे व्यापारी इसे पसंद कर रहे हैं। उनकी प्रॉब्लम यह है कि उन्हें प्रत्येक इनफ्लुएंसर से डायरेक्ट डील करनी पड़ रही है। इसके कारण उन्हें काफी समय देना पड़ता है, और अपन जानते ही हैं कि व्यापारियों के पास समय नहीं होता। यदि आप एक एजेंसी क्रिएट करते हैं तो ऐसे सभी बिजनेसमैन को आप अपने पैनल में शामिल कर सकते हैं। दूसरी तरफ इनफ्लुएंसर की कैटेगरी वाइज लिस्ट तैयार कर सकते हैं। 

एक तरफ इनफ्लुएंसर को ग्राहक नहीं ढूंढने पड़ेंगे और दूसरी तरफ से व्यापारियों को इनफ्लुएंसर की तलाश में यहां वहां नहीं भटकना पड़ेगा। यह बताने की जरूरत नहीं कि एजेंसी को उसका कमीशन दोनों तरफ से मिलेगा और इस तरह की डील कई बार लाखों में होती है।

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