चीता की चर्चा पूरी दुनिया में हो रही है क्योंकि ग्लोबल वार्मिंग से दुनिया को बचाने के लिए चीता को बचाना बहुत जरूरी हो गया है। अपन सभी जानते हैं कि चीता इस धरती पर मौजूद सभी जानवरों में सबसे तेज दौड़ने वाला जानवर है। इसकी अधिकतम स्पीड 120 किलोमीटर प्रति घंटा है। आइए जानते हैं कि चीता के शरीर में ऐसा क्या होता है जो उसे इतनी स्पीड देता है।
चीता के शरीर की इंजीनियरिंग
यदि हम थोड़ी देर के लिए चीता को एक प्रोडक्ट माने तो यह दुनिया का सबसे बेहतरीन इन्नोवेटिव प्रोडक्ट है। इसके पूरे शरीर को कुछ इस तरीके से डिजाइन किया गया है कि इसके शरीर की डिजाइनिंग के आधार पर रेसिंग बाइक बनाई गई और हवाई जहाज उड़ाए गए। यदि आप ध्यान से देखेंगे तो चीता का चेहरा कुछ इस प्रकार का है जो हवा को काटते हुए चीता को आगे बढ़ने में मदद करता है। रेसिंग बाइक का चेहरा भी बिल्कुल ऐसा ही होता है।
चीता की पूंछ कुछ इस प्रकार से डिजाइन की गई है कि वह हवा के दबाव को कम करती है और चीता को उसकी मनचाही दिशा में आगे बढ़ने में मदद करती है। चीता के पैर के पंजे और उसकी हड्डियां भी अलग है। इनके कारण चीता पेड़ पर नहीं चढ़ पाता। वह टहनियों पर बैलेंस नहीं बना पाता लेकिन इसके कारण उसके पैरों का फैलाव दूसरे जानवरों से ज्यादा होता है जो उसे लंबी जंप लेने में मदद करता है।
सबसे खास बात यह है कि चीता की रीड की हड्डी दूसरे किसी भी जानवर की रीढ़ की हड्डी से बिल्कुल अलग है। यह एक प्रकार की स्प्रिंग है। जब वह पहली जंप लेता है तो जमीन पर आते ही स्प्रिंग दब जाती है और जमीन को छोड़ते ही पैरों के साथ-साथ स्प्रिंग का बल भी काम करता है। यही कारण है कि चीता की स्पीड 70 किलोमीटर से 120 किलोमीटर प्रति घंटा हो जाती है। वह किसी बंदूक की गोली की तरह आगे बढ़ता है।